कुछ ही पल में टूट कर बिखर गए सारे सपने, बेहद खौफनाक था वो मंजर...
न्यूजीलैंड की मस्जिद में हुए आतंकी हमलों में मारे जाने वालों में केरल की एक महिला भी थी। वह एक वर्ष पहले ही अपने पति के साथ वहां कई सपनों के साथ गई थी। लेकिन एक पल में सभी सपने टूट गए।
नई दिल्ली [जागरण स्पेशल]। 15 मार्च 2019 का दिन 50 लोगों के परिवार में जो शून्य लेकर आया है उसको भरपाना किसी के लिए भी नामुमकिन होगा। न्यूजीलैंड में इस दिन हुए आतंकी हमले में कुछ भारतीय भी मारे गए। इनमें से ही एक अलीबावा थीं। केरल की अलीबावा की शादी वहीं के नजर से 2017 में हुई थी। पैसे कमाने के मकसद से पिछले वर्ष यह जोड़ा न्यूजीलैंड में बस गया था। अंसी अलीबावा ने एग्रीबिजनेस मैनेजमेंट में मास्टर डिग्री हासिल की थी। 15 मार्च के बाद नजर की जिंदगी में विरानी छा गई है। उस दिन को याद करते हुए नजर अपनी आंखों से आंसू रोक नहीं पाते हैं। वहीं उनके दोस्त और करीबी का कहना है कि इन दोनों की शादी अरेंज थी। दोनों एक दूसरे को बहुत प्यार करते थे।
नजर ने उस दिन को याद करते हुए एक अंग्रेजी वेबसाइट से अपने दर्द को साझा किया। उनका कहना था कि उस दिन वह दोनों ही मस्जिद में अलग-अलग जगह पर मौजूद थे। जिस वक्त आतंकी ने पहली गोली दागी तो वह समझ ही नहीं पाए कि किसी ने गोली चलाई है। उन्होंने पहले सोचा कि शायद किसी बच्चे का गुब्बारा फूट गया है। अगले ही पल गोलियां चलने की आवाजें तेज हो गईं। लोग खुद को बचाने के लिए एक दूसरे के ऊपर कूद कर भागने के लिए दौड़ रहे थे। उनके मुताबिक मस्जिद का इमरजेंसी गेट बंद हो गया था। उन्हें जो करीब में खिड़की दिखाई दी वह उसका शीशा तोड़कर बाहर कूद गए। उनके पीछे कुछ और लोग भी उसी खिड़की से बाहर निकले।
इनमें से कुछ को गोली लगी थी तो कुछ के कपड़े पूरी तरह से खून में सने हुए थे। नजर को सूझ नहीं रहा था कि वो क्या करे। इस घटना के कुछ देर बाद पूरे इलाके को सुरक्षाकर्मियों ने घेर लिया था। मस्जिद में औरतों और मर्दों के लिए अलग अलग जगह थी। नजर अंसी को तलाश करते हुए वहीं पहुंच गए जहां उन्होंने आखिरी बार उसे छोड़ा था। लेकिन नतीजा सिफर ही निकला। काफी तलाशने के बाद भी अंसी का पता नहीं चला। वहीं सुरक्षाकर्मी भी बार-बार नजर को वहां से बाहर निकलकर सुरक्षित जगह पर जाने की कह रहे थे। नजर के लिए यह सबसे बुरे पल थे। कई लोगों में वो भी थे जिनकी आंखों से आंसू थम नहीं रहे थे और पत्नी की सलामती की चिंता उन्हें खाए जा रही थी। नजर अपने दोस्त जॉर्ज के साथ जगह-जगह इस उम्मीद में गए कि शायद उनकी अंसी कहीं जिंदा मिल जाए। लेकिन शनिवार की शाम उनकी इस उम्मीद पर पानी फिर गया। मस्जिद में मारे गए लोगों की जानकारी सामने आई तो उसमें अंसी भी शामिल थी।
नजर बताते हैं कि अंसी के बहुत सपने थे, लेकिन इस घटना ने सारे सपने तोड़ दिए। ऐसा कभी किसी के साथ न हो। यह कहते हुए उनकी आंखें फिर नम हो गईं। नजर के लिए यह सब कुछ खत्म होने की ही तरह था। वह इस खबर के बाद उस रात सो नहीं पाए। पत्रकार लगातार उनसे उस घटना की जानकारी लेने पर आमादा थे, लेकिन उनकी मुंह से शब्द नहीं निकल पा रहे थे। अल नूर मस्जिद में हुआ हमला उनकी सारी खुशियां छीन चुका था।
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