गगनचुंबी इमारतों के निर्माण में शीर्ष पर चीन, कहां खड़े हैं हम
रिपोर्ट के मुताबिक इस साल विश्व में 200 मीटर (660 फीट) या इससे ऊंची 143 इमारतों का निर्माण हुआ। इनमें से 88 गगनचुंबी इमारतों का निर्माता चीन रहा है।
नई दिल्ली [जागरण स्पेशल]। अंतरराष्ट्रीय संगठन द काउंसिल ऑन टाल बिल्डिंग एंड अर्बन हैबिटेट की शुक्रवार को जारी रिपोर्ट के मुताबिक इस साल विश्व में 200 मीटर (660 फीट) या इससे ऊंची 143 इमारतों का निर्माण हुआ। इनमें से 88 गगनचुंबी इमारतों का निर्माता चीन रहा है। रिपोर्ट के मुताबिक यहां इस साल विश्व में सबसे अधिक आकाश छूती इमारतें बनाई गईं। वहीं 2018 में बनी दुनिया की सबसे ऊंची इमारत भी चीन की राजधानी बीजिंग में सिटिक टॉवर रही। विएतनाम के हो चि मिन्ह शहर में विनकॉम लैंडमार्क 81 इस साल बनकर तैयार हुई दूसरी सबसे ऊंची इमारत है।
वैश्विक केंद्र बना एशिया
चीन में ऐसी इमारतों के बनने से एशिया इस साल गगनचुंबी इमारतों का केंद्र बनकर उभरा है। यहां इस साल 76.2 फीसद ऊंची इमारतों का निर्माण हुआ है। उत्तरी अमेरिका 11.2 फीसद, पश्चिम एशिया और अफ्रीका 9.1 फीसद निर्माण हुआ।
खास खास
इस साल निर्मित 143 इमारतों की कुल ऊंचाई 35,246 मी, मेनहट्टन की लंबाई जितनी है।
विश्व की सबसे ऊंची इमारत संयुक्त अरब अमीरात के दुबई में स्थित बुर्ज खलीफा है। जिसकी ऊंचाई 828 मीटर (2717 फीट) है।
आकाश छूने की तमन्ना
इमारतों के जरिए आकाश छूने की तमन्ना रखने वाले ज्यादातर महत्वाकांक्षी देशों ने इस साल कई बहुमंजिला इमारतों का निर्माण किया। अमेरिका में 13 वहीं संयुक्त अरब अमीरात में दस और कोलंबिया, कुवैत और कनाडा में दो गगनचुंबी इमारतें बनाई गईं।
कहां खड़े हैं हम
भारत फिलहाल विश्व की 100 सबसे ऊंची इमारतों की सूची से भी बाहर है। वर्तमान में मुंबई स्थित इंपीरियल टॉवर 1 भारत की सबसे ऊंची इमारत है। इस 60 मंजिला इमारत की ऊंचाई 254 मीटर (तकरीबन 834 फीट) है। इसका निर्माण 2005 में शुरू हुआ था और इसके बनकर तैयार होने में पांच साल का समय लगा।
आठवें पायदान पर सिटिक टॉवर
चीन की राजधानी बीजिंग में इस साल बनकर तैयार हुए सिटिक टॉवर की कुल ऊंचाई 528 मीटर (1732 फीट) है। 108 मंजिला सिटिक टॉवर विश्व में आठवीं और चीन में चौथी सबसे ऊंची इमारत है। चीन के चैंग्शा शहर में ही इस साल की तीसरी सबसे ऊंची इमारत चैंग्शा आइएफएस टॉवर टी1 का निर्माण हुआ। इसकी ऊंचाई 452 मीटर (1483 फीट) है।