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महिषादल में मनाया गया विश्व नाट्य दिवस

संवाद सूत्र, हल्दिया : महिषादल के रवींद्र पाठागार में विश्व नाट्य दिवस पर समारोह का आयोजन ह

By JagranEdited By: Published: Tue, 28 Mar 2017 02:46 AM (IST)Updated: Tue, 28 Mar 2017 02:46 AM (IST)
महिषादल में मनाया गया विश्व नाट्य दिवस

संवाद सूत्र, हल्दिया : महिषादल के रवींद्र पाठागार में विश्व नाट्य दिवस पर समारोह का आयोजन हुआ। सोमवार को सुबह रैली के आयोजन के साथ ही नाटकों का मंचन भी किया गया। सभा को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने कहा कि नाटकों का मंचन आदिकाल से चला आ रहा है। अलग-अलग परिस्थितियों में यह भिन्न रूपों में अस्तित्व में रहा है। लेकिन इसके महत्व से इन्कार नहीं किया जा सकता। इसलिए नाटकों को स्वीकार करना और जनजीवन का अंग बनाना निहायत ही जरूरी है। वैसे भी जिस समाज में नाटक अधिक चलन में हैं वहां के लोग काफी जागरूक होते हैं। शोषण, अन्याय व अत्याचारों का चित्रण भी नाटकों में अभिव्यक्त होता रहता है। इसलिए समग्र रूप में समाज को इसे अंगीकार करना चाहिए। इसके प्रति शिक्षित और सुसंस्कृत लोगों की जवाबदेही कहीं अधिक है। सामूहिक प्रयासों से इसे समाज के अंतिम हिस्से तक पहुंचाया जा सकता है। आयोजकों ने कहा कि आगामी वर्ष विश्व नाट्य दिवस को और भी भव्य रूप में आयोजित करने का प्रयास किया जाएगा। इस अवसर पर प्रख्यात नाट्यकार सुरजीत सिन्हा, शशांक माईती व हरिपद माईती सहित अन्य भी शामिल थे।


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