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शासनादेश की प्रतियां जलाई

संवाद सूत्र, पुरोला : क्षेत्र पंचायत पुरोला की बैठक शुरू होने से पहले बीडीसी सदस्यों ने सदन के बाहर

By JagranEdited By: Published: Tue, 27 Jun 2017 05:28 PM (IST)Updated: Tue, 27 Jun 2017 05:28 PM (IST)
शासनादेश की प्रतियां जलाई
शासनादेश की प्रतियां जलाई

संवाद सूत्र, पुरोला : क्षेत्र पंचायत पुरोला की बैठक शुरू होने से पहले बीडीसी सदस्यों ने सदन के बाहर प्रदेश सरकार के उस शासनादेश की प्रतियां फूंकी, जिसमें जिलाधिकारी को वर्ष में कम से कम एक बार बीडीसी बैठक में मौजूद रहने के निर्देश दिए गए हैं। सदस्यों ने जिलास्तरीय अधिकारियों पर बीडीसी बैठकों में न आकर सदन की गरिमा को ठेस पहुंचने का आरोप लगाया।

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मंगलवार को ब्लॉक प्रमुख शारदा राणा की अध्यक्षता में आयोजित बीडीसी बैठक में सदस्यों ने प्रदेश सरकार की शासनादेश की प्रतियां फूंककर आक्रोश व्यक्त किया। क्षेत्रीय विधायक राजकुमार ने अधिकारियों और प्रतिनिधियों को बीडीसी बैठक को गंभीरता से लेने, हर बैठक में मौजूद रहने के साथ ही आपसी तालमेल से गांव के विकास की रूपरेखा तय करने के निर्देश दिए। बैठक में सर्वसम्मति से पुरोला पृथक जनपद और कृषि मंडी बनाने का प्रस्ताव पारित किया गया। बैठक में टौंस प्रभाग, वन निगम प्रबंधक अपर यमुना बड़कोट के डीएफओ की उपस्थित नहीं होने पर ¨नदा प्रस्ताव पारित किया गया। स्वास्थ्य विभाग पर चर्चा में लोकेंद्र रतूड़ी और सुलोचना नौटियाल ने सीएचसी में पानी समस्या पर चर्चा की। ¨सचाई विभाग पर चर्चा के दौरान सुदामा प्रसाद व दर्जनों प्रधानों ने पोरा, खलाड़ी रामा, बेष्टी, चंदेली, देवदूंग नहर में पानी न चलने का मामला उठाया। जिस सहायक अभियंता मोहन रावत ने दो दिन में नहर को सुचारु करने का आश्वासन दिया। प्रधान संघ अध्यक्ष बिशन ¨सह ने सीडीओ को ज्ञापन सौंपकर राज्य वित्त निधि में कटौती वापस न लेने पर 30 जून को सामूहिक त्याग पत्र देने की चेतावनी दी। बैठक में उपजिलाधिकारी शैंलेंद्र नेगी, सीडीओ उदय ¨सह राणा, बीडीओ एसएस कुमाईं, उपप्रमुख किशन रावत, शैलेंद्र राणा, सत्येंद्र राणा आदि उपस्थित थे।

प्रधानों ने सीएम को भेजा ज्ञापन

नई टिहरी : ग्राम प्रधानों ने पांच सूत्रीय मांग को लेकर जिलाधिकारी के माध्यम से मुख्यमंत्री को ज्ञापन भेजा। प्रधानों का कहना है कि वह लंबे समय से मांगों के निराकरण की मांग करते आ रहे है, लेकिन अभी तक उनकी मांगों का निराकरण नहीं किया गया। प्रधानों मांग की है कि राज्य वित्त के अंतर्गत ग्राम पंचायतों की वर्तमान में जो धनराशि आवंटित की गई है उसमें ग्राम पंचायत की धनराशि कटौती कर अन्य संस्थाओं को दी गई है उसे यथावत रखा जाए। ग्राम प्रधानों का मानदेय दस हजार किया जाए, पंचायतीराज एक्ट लागू किया जाए, मनरेगा में श्रमिकों व व सामग्री का अंशदान का भुगतान समय पर किया जाए। ज्ञापन देने वालों में संगठन के अध्यक्ष बासुदेव भट्ट, उपाध्यक्ष सीएम बिष्ट, महामंत्री विक्रम तोपवाल, रणवीर राणा, राजेंद्र ¨सह कुमांई, जयेंद्र सेमवाल आदि शामिल थे।


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