राज्य में बारिश ने मचाई तबाही
संवाद सहयोगी, चम्बा: भारी बारिश ने सकलाना क्षेत्र की सौंग नदी ने भारी तबाही मचाई है। बाढ़ से काश्तकारों के मकानों के अलावा, खेत खलिहान को भारी नुकसान पहुंचा है। उधर हेंवलनदी ने लोगों के लिए मुश्किलें पैदा कर दी हैं। कई दुकानें व मकान खतरे की जद में हैं। नागणी से लेकर खाड़ी तक कई जगहों में भारी नुकसान हुआ है।
हेंवलनदी के ऊफान पर होने से दर्जनों दुकानें व मकान खतरे की जद में है। गत दिनों हुई भारी बारिश से नदी ऊफान पर आ गई थी। नागणी से लेकर खाड़ी तक दुकानों व मकानों को खतरा बना हुआ है। कइयों ने दुकानें व मकान खाली कर दिए हैं। आमसेरा में आधा दर्जन दुकानें खतरे की जद में हैं यहां एक बड़ा होटल कभी भी गिर सकता है। होटल खाली करा दिया गया है। बिडोन में भी दो होटल खाली कर दिए हैं। नदी में बाढ़ के कारण नदी के दोनों ओर सिंचित खेत तो बहे ही हैं यहां अब दुकानें व मकानों को खतरा पैदा हो गया है। जिला पंचायत सदस्य अनिल भंडारी का कहना है जहां नुकसान हुआ है वहां क्षति का आंकलन कर मुआवजा दिया जाना चाहिए और जो खतरे की जद में हैं।
नैनबाग: प्रखंड जौनपुर के लामकांडा, मंजगांव, सत्यों, मटियाणा व रंगड़ गांव आदि गांवों में बारिश से भारी नुकसान हुआ है। बारिश के कहर से ग्रामीणों के आवागमन के सभी रास्ते बंद हो गए हैं। नदी पर बने कई पैदल पुल बह जाने से क्षेत्र के अधिकांश गांव का अन्य जगहों से संपर्क कट हुआ है। कद्दूखाल-सत्यों रायपुर मोटर अवरुद्ध होने से गांव का आवागमन प्रभावित हो गया है। रगड गांव में चार मकान मलबा में दब गए हैं। पूर्व जिला पंचायत उपाध्यक्ष मीरा सकलानी, गंभीर सिंह, सोबन सिंह आदि ने जिलाधिकारी से शीघ्र ही आपदा पीड़ितों को राहत देने की मांग कि है। इस संबंध में धनोल्टी के प्रभारी तहसीलदार मनजीत गिल ने बताया कि आपदा प्रभावितों तत्काल राहत के रूप में तीन-तीन हजार रूपये व खाद्यान्न सामग्री दी गई है।