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पर्यटकों के लिए दरवाजे बंद

जागरण संवाददाता, कोटद्वार: यदि आप कोटद्वार व आसपास के क्षेत्रों में स्थित पर्यटक स्थलों के बारे में

By Edited By: Published: Thu, 13 Nov 2014 02:39 AM (IST)Updated: Thu, 13 Nov 2014 12:50 AM (IST)
पर्यटकों के लिए दरवाजे बंद

जागरण संवाददाता, कोटद्वार: यदि आप कोटद्वार व आसपास के क्षेत्रों में स्थित पर्यटक स्थलों के बारे में पर्यटन विभाग से जानकारी लेना चाहते हैं, तो आपकी यह मंशा शायद ही परवान चढ़े। वजह यह है कि कोटद्वार में पर्यटन विभाग के दफ्तर में पिछले करीब एक महीने से ताले लटके पड़े हैं। दरअसल, पिछले दिनों पर्यटन मंत्री के निर्देश पर कोटद्वार स्थित पर्यटन विभाग में तैनात दो कर्मचारियों को निलंबित कर दिया गया, मगर मंत्री जी यह भूल गए कि निलंबित कर्मचारियों के स्थान पर किसी अन्य कर्मियों की तैनाती भी की जानी चाहिए। जाहिर है अब इस लापरवाही का खामियाजा पर्यटकों को ही भुगतना होगा।

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सर्दी के मौसम में पर्यटन नगरी लैंसडौन व आसपास के क्षेत्रों में पर्यटकों की काफी आवाजाही होती है। इसके साथ ही विश्व प्रसिद्ध कार्बेट नेशनल पार्क भी जल्द ही पर्यटकों के लिए खुलने वाला है। पार्क का करीब दो-तिहाई हिस्सा गढ़वाल क्षेत्र में पड़ता है। लिहाजा, कार्बेट पार्क में पर्यटक कोटद्वार से भी प्रवेश करते हैं। कहां तो पर्यटन विभाग को शीतकाल में आने वाले पर्यटकों के स्वागत की तैयारियों में जुटना था, मगर पर्यटन मंत्रालय ने लापरवाही की हदें यहां भी पार कर डाली हैं। हैरत की बात है कि कोटद्वार स्थित पर्यटन विभाग के कार्यालय में पिछले करीब एक महीने से ताले लटके पड़े हैं।

नतीजा यह कि यदि कोई देशी-विदेशी पर्यटक कोटद्वार पहुंचकर कार्बेट नेशनल पार्क या आसपास के किसी पर्यटक स्थल के बारे में जानकारी लेना चाहे, तो उसके हाथ निराशा ही लगने वाली है। गढ़वाल का प्रवेश द्वार कहे जाने वाले कोटद्वार में पिछले करीब तीन सप्ताह से कोई ऐसा जिम्मेदार अधिकारी नहीं, जो पार्क के साथ ही पर्यटक स्थलों के बारे में जानकारी दे सके। गत 16 अक्टूबर को पर्यटन मंत्री ने परिवहन निगम के कोटद्वार डिपो परिसर में स्थित पर्यटक स्वागत केंद्र का औचक निरीक्षण किया। इस दौरान कार्यालय में ताले लटके नजर आए।

आसपास पता करने पर बताया गया कि कार्यालय में अक्सर ताले लटके रहते हैं। पर्यटन मंत्री ने तत्काल प्रभाव से कार्यालय में तैनात सहायक पर्यटन अधिकारी सहित दो कर्मियों को निलंबित करने के निर्देश दे दिए। पर्यटन मंत्री के निर्देश पर दोनों कर्मियों को निलंबित तो कर दिया गया, लेकिन उनके स्थान पर आज तक पर्यटन स्वागत केंद्र में नए कर्मियों की तैनाती नहीं हो पाई है। नतीजा, पिछले तीन सप्ताह से पर्यटन स्वागत केंद्र बंद पड़ा है।

इनसेट..

'पर्यटन मंत्री के आदेश पर दोनों कर्मियों को निलंबित कर दिया गया था। फिलहाल केंद्र में किसी अन्य कर्मी की तैनाती नहीं हो पाई है।'

-पीके गौतम, जिला पर्यटन अधिकारी, पौड़ी


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