सरकार पर बरसे सतपाल
जागरण संवाददाता, नैनीताल : करीब एक साल पहले दल बदलने के साथ सुर बदलने वाले सतपाल महाराज शनिवार को का
जागरण संवाददाता, नैनीताल : करीब एक साल पहले दल बदलने के साथ सुर बदलने वाले सतपाल महाराज शनिवार को काग्रेस पर ऐसे बरसे, जैसे आसमान से ओले। उन्होंने दो टूक कहा, सीएम हरीश रावत से जब एकबार सवाल किया गया कि आप इस राज्य को कैसे चलाएंगे तो जवाब मिला, खनन से। सतपाल ने कहा कि यही संस्कृति आज उत्तराखंड के साथ चल रही है। जिन निगमों के पास मेहमाननवाजी का काम है, उन्हें शराब के ठेके देकर सरकार एक अपसंस्कृति को पनपा रही है।
राज्य अतिथि गृह में पत्रकारों से बातचीत में पूर्व सांसद ने कहा कि बार-बार मुख्यमंत्री का एक ही बयान कि केंद्र मदद नहीं कर रहा, हास्यास्पद है। राज्य सरकार ऋषिकेश-कर्णप्रयाग रेल लाइन के लिए जमीन देने को तैयार नहीं। खनन का खेल किस तरह अपराध को बढ़ा रहा है, इसका सच प्रशिक्षु आइएफएस पर हुए हमले से बयां होता है। प्रदेश में पर्यटन बढ़ाने का काम केएमवीएन और जीएमवीएन का है, मगर ये दोनों निगम पर्यटकों में विश्वास नहीं जगा पाए। क्योंकि निगमों को पता है कि आतिथ्य से ज्यादा आबकारी फायदेमंद है।
सतपाल ने कहा कि अर्थव्यवस्था चाहे कमजोर ही क्यों न हो, लेकिन सीएम ने लालबत्तियां बांटने में जो दरियादिली दिखाई है, उससे प्रदेश गर्त की तरफ जा रहा है। हमारे राज्य की हरियाली का प्रतीक जंगल हैं और इनमें धधकती आग की कोई परवाह नहीं दिखती। वार्ता के दौरान सतपाल ने केंद्र की मोदी सरकार की तारीफ करने में भी कोई कसर नहीं छोड़ी।
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संस्कृति पर बने विधान भवन का डिजाइन
सतपाल ने गैरसैंण विधान भवन का डिजाइन कुमाऊं-गढ़वाल की संस्कृति पर बनाए जाने की वकालत की है। उनका कहना है कि जो डिजाइन अभी है, उसमें अंग्रेजी शैली झलकती है। अगर हम पहाड़ में बनने वाले विधानभवन को उत्तराखंड से जोड़ेंगे तो यह संस्कृति का सम्मान होगा।