शिक्षकों के लिए एक जुलाई से ड्रेस कोड
राज्य ब्यूरो, देहरादून प्रदेश के सभी स्कूलों में सरकारी शिक्षक एक जुलाई से ड्रेस कोड का पालन करेंग
राज्य ब्यूरो, देहरादून
प्रदेश के सभी स्कूलों में सरकारी शिक्षक एक जुलाई से ड्रेस कोड का पालन करेंगे। शिक्षाधिकारियों ने भी ड्रेस कोड अपनाने पर रजामंदी दी है। वहीं स्कूल खुलने की समय अवधि में बदलाव किया गया है। शिक्षा मंत्री अरविंद पांडेय ने गर्मियों में सुबह 7.15 बजे के बजाय आठ बजे और सर्दियों में सुबह 10 बजे के बजाय 9.30 बजे से स्कूल संचालित करने के निर्देश दिए।
शिक्षा मंत्री अरविंद पांडेय ने प्रदेश के उप शिक्षाधिकारियों, खंड शिक्षाधिकारियों, जिला शिक्षाधिकारियों, मुख्य शिक्षाधिकारियों, मंडलीय अपर निदेशकों के साथ शुक्रवार को सचिवालय में पांच घटे से ज्यादा मैराथन बैठक की। सरकारी स्कूलों में गिरती छात्रसंख्या को रोकने और शिक्षा स्तर सुधारने पर मंथन हुआ। सरकारी स्कूलों में शैक्षिक माहौल बेहतर बनाने और शिक्षा की गुणवत्ता के लिए शिक्षाधिकारियों की जवाबदेही तय की गई। मंत्री ने कहा कि अधिकारी अपने दायित्वों को ठीक से पालन नहीं कर रहे हैं। ऐसी शिकायत सही पाई गई तो संबंधित अधिकारी के खिलाफ दंडात्मक कार्रवाई होगी। शैक्षिक गुणवत्ता को लेकर बैठक में कई सुझाव भी आए। एक सुझाव स्कूल खुलने और बंद होने के समय को लेकर भी आया। शिक्षा मंत्री ने गर्मियों में सुबह आठ बजे से दोपहर एक बजे और सर्दियों में सुबह 9.30 बजे से शाम 3.30 बजे तक स्कूल संचालित करने के निर्देश दिए। हफ्ते में एक दिन शनिवार को कक्षा एक से आठवीं तक छात्र बगैर बस्ते के स्कूल पहुंचेंगे। उक्त दिन सभी बच्चों की खेलकूद व अन्य प्रतियोगिताएं होंगी। प्रत्येक विद्यालय में वार्षिक उत्सव होगा।
नई तैनाती को 29 तक मोहलत
शिक्षा मंत्री ने शिक्षकों को एक जुलाई से ड्रेस कोड लागू करने के निर्देश दिए। साथ ही सभी शिक्षाधिकारियों के लिए भी ड्रेस कोड लागू करने पर सहमति बनी। मंत्री ने तबादले के बावजूद नई तैनाती स्थल पर कुछ अधिकारियों के कार्यभार ग्रहण नहीं करने पर नाराजगी जताई। इन अधिकारियों को 29 मई तक तैनाती स्थल पर जाने की मोहलत दी गई। इसके बाद उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्रवाई होगी। ऐसे अधिकारियों की सूची तलब की गई है।
निजी स्कूलों के मुआयना के निर्देश
उन्होंने सभी शिक्षाधिकारियों से जिलों में निजी स्कूलों में दोबारा प्रवेश शुल्क, कॉशन मनी या अतिरिक्त शुल्क लेने की शिकायतों पर सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए। सभी अधिकारियों को अपने क्षेत्रों में स्कूलों का मुआयना करेंगे। मनमानी करने वाले स्कूलों पर कार्यवाही की जाएगी। शिक्षा मंत्री ने दुर्गम में तैनात शिक्षकों की सूची तैयार करने के निर्देश दिए। साथ ही संबद्धता आदेश खत्म होने के बाद सभी कार्मिकों को मूल विद्यालयों और कार्यालयों में लौटने की ताकीद की गई। 30 मई को बोर्ड के हाईस्कूल व इंटर के रिजल्ट में पहले दस स्थान पर आने वाले छात्र-छात्राओं, उनके गुरुजनों व अभिभावकों को शिक्षा मंत्री की ओर से भोज देने के साथ ही सम्मानित किया जाएगा। बैठक में पूर्व सांसद बलराज पासी ने भी शिरकत की। इस मौके पर शिक्षा सचिव चंद्रशेखर भट्ट, अपर सचिव धीरेंद्र दत्ताल, शिक्षा महानिदेशक आलोक शेखर तिवारी, माध्यमिक शिक्षा निदेशक आरके कुंवर, शोध व प्रशिक्षण निदेशक सीमा जौनसारी, अपर राज्य परियोजना निदेशक डॉ मुकुल सती भी मौजूद थे।