दुकान संभाली, तब पढ़कर बनी टॉपर
जागरण संवाददाता, ऋषिकेश: उत्तराखंड बोर्ड के इंटरमीडिएट परीक्षा में सर्वोच्च स्थान प्राप्त करने वाली
जागरण संवाददाता, ऋषिकेश: उत्तराखंड बोर्ड के इंटरमीडिएट परीक्षा में सर्वोच्च स्थान प्राप्त करने वाली अंजलि रावत ने यह मुकाम यूं ही हासिल नहीं किया। उनकी इस सफलता के पीछे उसकी कड़ी मेहनत, लगन और दृढ़ इच्छाशक्ति छुपी है। मध्यम वर्गीय परिवार से ताल्लुक रखने वाली अंजली ने पढ़ाई के लिए दुकान तक संभाली।
मूल रूप से पुरानी टिहरी के डोब गांव निवासी अंजलि रावत का परिवार टिहरी बांध के कारण विस्थापित होकर पथरी हरिद्वार आ गया था। पथरी में मूलभूत सुविधाओं का अभाव होने के कारण रावत परिवार कुछ वर्ष पूर्व ढालवाला में आकर बस गया था। अंजलि के परिवार में दादा अब्बल सिंह, दादी कमली देवी, पिता विक्रम सिंह, मां लक्ष्मी देवी व छोटा भाई सौरभ हैं। उनके चाचा और ताऊ के परिवार भी एक ही छत के नीचे रहते हैं। अंजलि के पिता विक्रम सिंह ढालवाला में ही एक पाइप फैक्ट्री में काम करते हैं। पिता की मामूली तनख्वाह के अलावा परिवार की आर्थिकी का दूसरा जरिया घर के बाहर बनी छोटी सी परचून की दुकान है। गली-मोहल्ले की इस दुकान का जिम्मा अंजली ही संभालती है। अंजली का कहना है कि स्कूल के बाद वह दुकान पर बैठकर ही पढ़ाई करती है। दुकान की आमदनी से ही अंजली और उसके भाई की पढ़ाई का खर्चा चलता है। अंजली की मां लक्ष्मी देवी का स्वास्थ्य भी ठीक नहीं रहता है, हाल में ही उनका ऑपरेशन भी हुआ है। अंजलि ने बताया कि वह दुकान के साथ घर के काम में भी मां का पूरा हाथ बांटती है। इसके बाद भी वह पढ़ाई के लिए प्रतिदिन छह से आठ घंटे निकालती है। अंजलि के माता पिता उसकी सफलता से खुश हैं। पिता विक्रम सिंह रावत ने बताया कि उनकी आमदनी भले ही सीमित है, लेकिन बेटी का सपना पूरा करने के लिए वह हर कोशिश करेंगे।
टॉपर अंजली की अंकतालिका
विषय अंक
हिंदी 97
अंग्रेजी 98
गणित 99
भौतिक विज्ञान 90
रसायन विभान 92
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कुल योग 476 (95.20 प्रतिशत)