रेलवे की राह चला परिवहन निगम
जागरण संवाददाता, रानीखेत : रोडवेज बसों में अब सीट का झंझट खत्म! रेलवे की डगर पकड़ चुके परिवहन निगम की
जागरण संवाददाता, रानीखेत : रोडवेज बसों में अब सीट का झंझट खत्म! रेलवे की डगर पकड़ चुके परिवहन निगम की पहल से तो कम से कम यही लग रहा है। विषम पर्वतीय भूभाग में समय पर बस स्टेशन न पहुंचने वाले यात्री परेशान न हों, इसके लिए निगम ने आरक्षण व्यवस्था शुरू कर दी है। शुरूआती चरण में यह सुविधा लखनऊ, देहरादून व दिल्ली वाली बसों में दी जा रही है।
दरअसल, यूपी के दौर में परिवहन निगम ने रोडवेज बसों में सीट के लिए आरक्षण व्यवस्था लागू की थी। मगर धीरे-धीरे बसों की स्थिति खराब होने से क्रेज घटता गया। सवारियां कम होने पर यह सुविधा खत्म सी हो गई। चूंकि परिवहन निगम ने बस सेवा में काफी हद तक सुधार कर लिया है। हाइटेक बसें भी दौड़ाई जा रहीं हैं। लिहाजा बढ़ती सवारियों को देखते हुए निगम दोबारा रेलवे की राह पर चल पड़ा है। यानी पर्वतीय जिलों से दिल्ली, देहरादून व लखनऊ जाने वाले यात्रियों के लिए सीट के आरक्षण की व्यवस्था शुरू कर दी गई है। यह व्यवस्था मुकम्मल तौर पर एक नवंबर से शुरू हो जाएगी।
इसका मकसद समय पर स्टेशन न पहुंच पाने वाले यात्रियों को सुगम सफर की सुविधा मुहैया कराना है। लेट-लतीफ रहने के बावजूद अब लोग निश्चिंत होकर सीट बुक करा बस सेवा का लाभ ले सकेंगे। रानीखेत डिपो ने पहले चरण में दोपहर 2:00 बजे लखनऊ, 3:00 बजे देहरादून तथा शाम 5:00 बजे दिल्ली जाने वाली बस में सीट आरक्षण की सुविधा शुरू कर दी है।
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गैरसैंण में एजेंट करेंगे बुकिंग
जिन कस्बों में रोडवेज स्टेशन नहीं हैं,वहां अब एजेंट यात्रियों के सीट आरक्षित करेंगे। मासी, गनाई आदि की भांति परिवहन निगम शीघ्र उत्तराखंड की भावी राजधानी गैरसैंण में एजेंट नियुक्त करने जा रहा है। 10 रुपया आरक्षण शुल्क निगम इन्हीं एजेंट को देगा, ताकि वे अधिक से अधिक यात्री रोडवेज बस में बैठा सकें।
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'सीट आरक्षित होने से पहाड़ के यात्रियों को बड़ा लाभ मिलेगा। बस मिलने के बावजूद कई लोग बगैर सीट मजबूरन खड़े ही सफर करते हैं। लेकिन अब यात्री 10 रुपया आरक्षण शुल्क देकर सीट बुक करा लेंगे। पहाड़ में स्टेशन स्तर पर यह पहली पहल है।
- केएस रावत, एआरएम रानीखेत डिपो'