रचेगा इतिहास,काशीपुर व बगचन होंगे ओडीएफ
सीतापुर : शाबास! काशीपुर व बगचन गांव वालों। शतप्रतिशत जागरुकता की अलख जगाकर आपने एक इतिहास रच दिया ह
सीतापुर : शाबास! काशीपुर व बगचन गांव वालों। शतप्रतिशत जागरुकता की अलख जगाकर आपने एक इतिहास रच दिया है। आपके गांव में अधिकांश घरों में शौचालय हैं। जिन घरों में नहीं हैं, उन घरों के लोग शौच पर मिंट्टी डालकर आते हैं। जल्द ही दोनों गांव खुले में शौच मुक्त (ओडीएफ) का दर्जा हासिल कर जिले का नाम तो रोशन करेंगे ही दूसरे गांव वालों के लिए भी प्रेरणास्रोत होंगे।
जिले की 164 ग्राम पंचायतों को स्वच्छ भारत मिशन के तहत ओडीएफ करने के लिए चरण वार अभियान चल रहा है। इतिहास रचने के करीब सिधौली के काशीपुर व महोली के बगचन गांव हैं। अभी से दोनों गांव में जश्न जैसा माहौल है। इन गांव में जिन घरों में शौचालय नहीं है, उस घर के लोग शौच पर मिंट्टी डालकर आते हैं।
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ग्रामीणों को किया सम्मानित
डीएम अमृत त्रिपाठी व सीडीओ र¨वद्र कुमार अन्य अधिकारियों के साथ गुरुवार को सिधौली के काशीपुर व महोली के बगचन गांव में पहुंचकर न सिर्फ ग्रामीणों व प्रधानों को सम्मानित किया, बल्कि गांव में निकाली गई गौरव यात्रा में शामिल होकर ग्रामीणों का उत्साह भी बढ़ाया। गौरव यात्रा में बच्चों, बुजुर्गों, महिलाओं और पुरुषों ने बढ़ चढ़कर भागीदारी की। डीएम ने ओडीएफ के लिए ग्रामीणों का हौसला बढ़ाते हुए कहा कि ग्रामीणों के सहयोग से आज यह गांव ओडीएफ की श्रेणी में शामिल होने वाले हैं। जिले के अन्य गांवों के लोगों को भी प्रेरणा लेकर अपने गांव को ओडीएफ बनाने का प्रयास करना चाहिए। लोगों को खुले में शौच को एक अभिशाप मानकर इसका विरोध करना चाहिए। काशीपुर में डीएम ने प्रधान ओम प्रकाश यादव को माला पहनाकर सम्मानित किया। गांव की निगरानी समिति सदस्यों में महिलाओं व पुरुषों का भी सम्मानित किया गया। बगचन गांव में ग्रामीणों ने नुक्कड़ नाटक पेशकर साथियों को स्वच्छता के प्रति जागरुक किया। डीएम ने प्रधान से कहा कि जिन ग्रामीणों के शौचालय नहीं बने हैं और वह बनवाने में असमर्थ हैं। उनकी सूची बनाकर ब्लॉक अधिकारियों को दें, ताकि उनके शौचालय बन सकें। गांव के स्कूल में नुक्कड़ नाटक हुआ।
जिले के 19-19 गांवों को चरण वार लेकर उनमें पांच-पांच वॉलंटियर ग्रामीणों को जागरुक कर रहे हैं। ग्रामीणों को ओडीएफ के लिए बेहतर ढंग से समझा सकें, इसके लिए हमने वालंटियरों को ट्रेंड भी किया है।
- अमृत त्रिपाठी, जिलाधिकारी