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बुद्ध के आंगन में सूनी रहेगी भाईयों की कलाई

सिद्धार्थनगर : भाई-बहन के आपसी प्रेम व समर्पण का प्रतीक रक्षाबंधन पर्व करीब है। इस दिन हर बहन अपने भ

By Edited By: Published: Thu, 27 Aug 2015 01:24 AM (IST)Updated: Thu, 27 Aug 2015 01:24 AM (IST)

सिद्धार्थनगर : भाई-बहन के आपसी प्रेम व समर्पण का प्रतीक रक्षाबंधन पर्व करीब है। इस दिन हर बहन अपने भाई की कलाई पर राखी बांधकर उसके दीर्घायु होने की कामना करती है, लेकिन इस बार गौतम बुद्ध के आंगन में बसे इस जनपद के हजारों भाईयों की कलाईयां सूनी रह जाएंगी। क्योंकि उनकी बहना सरहद पार जो ब्याही हैं।

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इस सीमाई जनपद के सैकड़ों गांवों के हजारों भाईयों की बहनें सरहद पार नेपाल में ब्याही हैं। नेपाल के भी सीमाई इलाकों के हजारों भाईयों की बहनें भारत में ब्याही हैं। सामान्य परिस्थितियों में सीमाई नागरिक बेरोक-टोक सरहद के पार आते-जाते रहते हैं तथा विभिन्न तीज-त्यौहारों एवं अन्य अवसरों पर परम्पराओं का निर्वहन करते रहते हैं, लेकिन इस बार रक्षाबंधन पर्व पर नेपाल के ताजा हालात लोगों को परम्पराओं के निर्वहन की इजाजत नहीं दे रहे हैं। नेपाल में जारी ¨हसा तथा अनिश्चित कालीन बंदी परम्पराओं के निर्वहन में रोड़ा बनी हुई है।

उल्लेखनीय है कि संविधान निर्माण व इसके मसौदे को लेकर नेपाल में इस समय काफी विरोध प्रदर्शन हो रहा है। मधेशी समुदाय के लोग काफी असंतुष्ट व आन्दोलित हैं। उन्होंने अनिश्चितकालीन बंदी का ऐलान कर रखा है। जगह-जगह विरोध प्रदर्शन व सभाएं की जा रही हैं। नस्लभेदी ¨हसा भड़क उठी है। ऐसे में लोग सहमे हुए हैं। सरहद पार करने की हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं। ऐसी स्थिति में चाहकर भी भाई बहन के घर जाकर राखी नहीं बंधवा पाएंगे और न ही बहनें आकर भाईयों की कलाई पर राखी बांधने की हिम्मत जुटा पायेंगी।

सीमाई नागरिकों की आवाज

अमहट निवासी कमलेश कुमार बताते हैं कि उनकी बहन नेपाल के रुपनदेही जिले के सिबलवां में ब्याही है। हरसाल वह राखी बंधवाने उसके घर जाते थे, लेकिन इस साल हिम्मत नहीं जुटा पा रहे हैं। लोटन कस्बा में मोबाइल की दुकान चलाने वाले अनिल जायसवाल का कहना है कि उनके बहन की शादी नेपाल के भैरहवा में हुई है। हर साल रक्षाबंधन में राखी बंधवाने वह भैरहवां जाते हैं। यदि संभव हुआ तो इस साल भी जाएंगे।

..और अब चायनीज हुए प्रेम के धागे

दीवाली में चायनीज झालरों, चायनीज सेब, चायनीज मोबाइल व अन्य इलेक्ट्रानिक उपकरणों से लोग पूर्व परिचित हैं, लेकिन इस बार रक्षाबंधन पर्व पर बहन-भाई के आपसी प्रेम का प्रतीक माने जाने वाले प्रेम के कच्चे धागे भी चायनीज हो गए हैं। बाजार में चीन निर्मित कार्टून वाली राखियों की धूम मची हुई है। बच्चे इस कार्टून वाली राखी को बहुत पसंद कर रहे हैं। बेन टेन, छोटा भीम, स्पाईडरमैन सहित विभिन्न प्रचलित कार्टून करेक्टरों में उपलब्ध यह चायनीज राखियां बच्चों के बीच तेजी से लोकप्रिय हो रही हैं।


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