तूफान का कहर, 18 घायल
सहारनपुर: शनिवार को मौसम खलनायक बन गया। आंधी-तूफान के साथ बारिश व ओलावृष्टि से जनजीवन अस्तव्यस्त हो
सहारनपुर: शनिवार को मौसम खलनायक बन गया। आंधी-तूफान के साथ बारिश व ओलावृष्टि से जनजीवन अस्तव्यस्त हो गया। बड़े दरख्त उखड़ गए। सैकड़ों होर्डिग्स और यूनीपोल सड़कों पर आ गिरे। देहरादून हाइवे, रुड़की मार्ग, चिलकाना रोड, अंबाला-सहारनपुर-देहरादून हाइवे, दिल्ली-यमनोत्री मार्ग आदि मार्गो पर इसी कारण जाम लगा रहा। अभी तक आम की फसल देख खुश होने वाले बागवानों के तो मानों अरमानों पर ही पानी फिर गया है। शिवालिक वन क्षेत्र में रहने वाले वन गुर्जरों के डेरे भी तूफान में उड़ गए। कई स्थानों पर मकान या उसकी छत गिरने से 18 लोग घायल हो गए। अंधड़ से शहर और देहात की बिजली गुल रही। जनपद के अधिकांश हिस्से में रविवार की सुबह भी आपूर्ति बहाल नहीं हो सकी थी। मौसम वैज्ञानिक राकेश बहादुर के अनुसार करीब 80 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार से आए इस तूफान ने सहारनपुर समेत आसपास के जिलों में काफी नुकसान पहुंचाया है। हालांकि बारिश से पारा जरूर गिर गया है। शनिवार को अधिकतम तापमान 43 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया जो रविवार को गिरकर 36 डिग्री सेल्सियस पर आ गया। न्यूनतम 26 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
शनिवार की शाम करीब सात और उसके बाद रात 11 बजे अचानक तेजी के साथ धूल भरी हवाएं चली फिर एकदम तेज आंधी आई तो बिजली गुल हो गई। आंधी तूफान के कारण लोग घरों में घुस गए, मगर आम बागवान अपने आंखों से अरमानों पर पानी फिरता देखते रहे। आम की तैयार फसल टूटकर जमीन पर गिरने लगी। बागों में चारों ओर च्च्चे आम ही बिखरे पड़े थे। बेहट रोड, अंबाला रोड, देहरादून रोड पर जगह-जगह कई बड़े पेड़ गिर जाने के कारण यातायात भी बाधित रहा। सड़क किनारे लगे विभिन्न कंपनियों के होर्डिग्स सड़क पर आ गिरे। 62 फुटा रोड पर इरफान के मकान की दीवार गिर गई। इरफान, उसकी पत्नी व दोच्बच्चे घायल हो गए। सड़क दूघली में इम्तियाज का लैंटर गिरने से उसके तीनच्बच्चे घायल हो गए। चिलकाना में गांव सीकरी कलां में दीवार गिरने से जनक के तीनच्बच्चे व कातला में अनीस के चार परिजन मकान गिरने से घायल हो गए। इस्लामनगर, रामपुर मनिहारन व रायवाला में भी दीवार गिरने से पांच लोग घायल हुए। इन सभी 18 घायलों का जिला अस्तपाल में इलाज चल रहा है।
दिल्ली रोड पर नगर निगम का बड़ा पोल जमीन पर आ गिरा तो पेपर मिल मोड़ पर विश्वकर्मा चौक पर ट्रैफिक पुलिस का अत्याधुनिक बूथ भी तेज आंधी में जमीन पर आ गिरा। उस पर लगी सोलर प्लेट भी टूट गई। बिजली खंबे मुड गए। कई स्थानों पर पेड के टहने बिजली की लाइनों पर गिरने के कारण विद्युत व्यवस्था ठप्प होकर रह गई। रविवार शाम तक भी देहात की आपूर्ति सुचारु नहीं हो सकी थी। तेज हवा के बाद शुरु हुई बारिश ने लोगों को राहत पहुंचाने का काम किया।
24 घंटे में भी नहीं आई बिजली
शनिवार की रात तेज आंधी तूफान तो शांत हो गया, मगर बिजली देहात में 24 घंटे बाद यानी रविवार को भी शुरू नहीं हो सकी। ब्रेक डाउन के कारण शहर के अनेक हिस्से अंधेरे में डूबे रहे। सरसावा, नकुड़, चिलकाना, फंदपुरी, खेड़ा अफगान, बेहट आदि क्षेत्रों में विद्युत अधिकारी लाइन चालू करने के लिए फाल्ट ढूंढते घूम रहे हैं।