पीपल के पेड़ ने बचाई महिला की जान
प्रतापगढ़ : 'जाको राखे साइयां मार सके न कोय' की कहावत अक्षरश: रानीगंज में एक बार फिर चरितार्थ हुई। ब
प्रतापगढ़ : 'जाको राखे साइयां मार सके न कोय' की कहावत अक्षरश: रानीगंज में एक बार फिर चरितार्थ हुई। बुधवार की रात दुराचार में असफल होने पर बाइक सवार बदमाशों ने एक विवाहिता को कुएं में फेंक दिया। अब वह तो मर ही जाएगी, यह सोचते हुए वे वहां से फरार हो गए। हालांकि 'होनी' कुछ अलग होनी थी। कुएं के पानी के बीच पीपल के पेड़ की एक टहनी उसके लिए ईश्वर का वरदान साबित हुई। उसी टहनी को पकड़कर उसने सारी रात बिता दी, सुबह ग्रामीणों ने उसकी चीखने की आवाज सुनकर बाहर निकाला। वहां जुटे लोगों की जुबां पर महिला को देखकर विस्मय था।
रानीगंज थाना क्षेत्र के पूरे गोलिया गांव निवासी रमेश कुमार प्राइवेट वाहन चलाकर परिवार का खर्च उठाता है। वह बुधवार को वाहन लेकर इलाहाबाद गया था। उसकी 28 साल की पत्नी रागिनी (पति-पत्नी का नाम परिवर्तित) शाम करीब साढ़े सात बजे रानीगंज बाजार दवा लेने आई। उसे बाजार में ही बाइक सवार चार लोग मिले, जो हेलमेट पहने थे। उन्होंने उसे जबरन बाइक पर बैठाकर रस्तीपुर गांव ले जाकर खेत में एक कुएं के पास दुराचार का प्रयास करने लगे। शोर मचाने पर वे अपने मकसद में सफल नहीं हुए। विरोध करने पर उसे मारपीट कर कुएं में फेंक दिया। विवाहिता कुएं में पानी के अंदर डूबने के बाद ऊपर आई तो कुएं में उगे एक पेड़ की टहनी को पकड़कर रातभर चीख पुकार करती रही। सुबह शौच को गए ग्रामीणों ने कुएं में आवाज सुनी। वहां इकट्ठा हुए डॉ. मूलचंद्र यादव, अमर सिंह, विजय आदि ग्रामीणों ने कुएं में रस्सी से चारपाई को बांधकर डाला तब जाकर महिला को बाहर निकाला जा सका। बेहोशी की हालत में ठंड से कंपकपाती महिला को लोगों ने आग जलाकर सामान्य करने का प्रयास किया। पति व बेटा समेत ग्रामीणों ने ऊपर वाले का शुक्रिया अदा किया। इधर पुलिस भी मौके पर पहुंची और इलाज के लिए उसे सीएचसी लाया गया। वहां डॉ. शबीब हैदर ने महिला को जिला अस्पताल के लिए रेफर किया। इस बाबत पुलिस का कहना है कि घटना की जानकारी है, वह मौके पर गई थी। तहरीर मिलने पर कार्रवाई होगी।