पुरुषार्थ व कल्याण के लिए मिला जीवन : ज्ञान भूषण
शामली : 108 ज्ञान भूषण महाराज ने कहा कि हमें भगवान की भक्ति के लिए जन्म मिला है। यह जीवन पुरुषार्थ औ
शामली : 108 ज्ञान भूषण महाराज ने कहा कि हमें भगवान की भक्ति के लिए जन्म मिला है। यह जीवन पुरुषार्थ और कल्याण के लिए है, इसलिए हमें धर्म के मार्ग की ओर अग्रसर होना चाहिए।
सोमवार को जैन धर्मशाला में प्रवचन करते हुए जैन संत ने कहा कि हमें पानी को छानकर पीना चाहिए। हमें अष्ट गुणी होना चाहिए। हमें जिस कारण जन्म मिला है, हम उससे भटक गए हैं। कहा, हमें भगवान की भक्ति के लिए जन्म मिला है। इसलिए मनुष्य को अपना जीवन सफल बनाना है। जैन मुनि ने कहा,अपने ज्ञान चक्षु को भगवान महावीर को अर्पण कर दो और गुरू के चरणों में बैठकर ज्ञान की आराधना करो, तभी कल्याण संभव है। उन्होंने कहा जैन धर्म के अनुयायी बनकर अपनी पहचान बनाने का आह्वान करते हुए कहा कि जैन हो तो शत प्रतिशत जैन बनकर दिखाओ। शत प्रतिशत नहीं बन सकते तो 75 या 25 प्रतिशत तक ही जैन बन जाओ। सूर्यास्त के बाद कुछ नहीं खाना चाहिए। स्वाद के चक्कर में अपना स्वाद मत बिगाड़ो। जैन संत ने कहा हमें धर्म की ओर अग्रसर होना चाहिए। धर्म के साथ चलकर आगे निकला जा सकता है, वरना पीछे रह जाओगे।
उन्होंने जैन धर्म का मान बढ़ाते हुए जीवन को सार्थक बनाने का आह्वान किया। इस अवसर पर सुशील जैन, राजीव जैन, प्रवीण जैन, पद्युम्मन जैन, अर¨वद जैन, शरद जैन, सचिन, महेशचंद जैन, विनोद जैन व दिनेश जैन आदि मौजूद रहे।