पहले फुटपाथ फिर कब्जाई सड़क
मुजफ्फरनगर : भगत ¨सह रोड पर भी अतिक्रमण का खेल निराला है। फुटपाथ तो पहले बहुत समाप्त हो चुके थे, अब
मुजफ्फरनगर : भगत ¨सह रोड पर भी अतिक्रमण का खेल निराला है। फुटपाथ तो पहले बहुत समाप्त हो चुके थे, अब व्यापारियों ने सड़क पर कब्जा करना शुरू कर दिया है। आठ फीट की दुकान वाले व्यापारियों ने 20 फीट का सामने फड़ लगा लिया है। 20 फीट का फड़ सड़क पर आ गया, जिससे राहगीरों व चलने वालों को भारी समस्या से गुजरना पड़ रहा है। सामने बैठ राहगीरों की मुसीबत दुकानदार देखते रहते हैं, लेकिन अतिक्रमण कम करने का नाम नहीं ले रहे हैं।
भगत ¨सह रोड शहर का सबसे व्यस्त रहने वाला बाजार है। यहां पर कपड़ा, ज्वैलरी, फुटवियर, बर्तन, सब्जी मंडी व अनाज मंडी का कारोबार है। दूसरी ओर यहीं से शामली के लिए भी रास्ता जाता है। ऐसे में इस सड़क पर भीड़ ज्यादा रहती है। भगत सिहं रोड के भीतर भी कई छोटी-छोटी गलियां हैं, जिसमें सौंदर्य व कपड़े का कारोबार होता है। लेकिन यहां सड़क पर भी पैर रखने को जगह नहीं मिलती है। फुटपाथ नाम की चीज तो है ही नहीं। दुकाने फुटपाथ पर आ गई हैं और कब्जा सड़कों तक फैलने लगा है। आठ फीट की दुकान में 10 फीट बाहर सड़क पर कब्जा कर लिया है, जिससे चलने वालों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। बाजार में खरीददारी के लिए आने वाले लोगों को भी मुसीबत झेलनी पड़ती है। फुटपाथ समाप्त हो गए हैं, व्यापारी दुकान के सामने वाहन खड़ा नहीं करने देते हैं ऐसे में बाजार में लोगों को खासी समस्या होती है।
लोगों की समस्या से दुकानदारों को कोई सरोकार नहीं होता है। आलोक अहूजा, नीरज, आमिर, मोनू, गौरव, अंकित, विक्की ने कहा कि अतिक्रमण से आने-जाने वालों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ता है। पालिका व प्रशासन को अतिक्रमण हटवाना चाहिए।
व्यापारियों से कैसे निपटेगा प्रशासन
-फुटपाथ पर व्यापार करने वाले अस्थाई दुकानदारों के लिए प्रशासन योजना बना रहा है। एक एजेंसी के माध्यम से प्रशासन सर्वे कराएगा और उसके बाद अस्थाई दुकानदारों को भूमि मुहैया कराई जाएगी। हद तक शहर के फुटपाथ खाली हो जाएंगे। लेकिन बाजार के उन फुटपाथों का क्या होगा, जिनका सौदा हो चुका है। अधिकांश बाजारों में व्यापारियों ने फुटपाथ कब्जा लिया है और छोड़ने को तैयार नहीं है। प्रशासन ने फुटपाथ कब्जा मुक्त कराया तो व्यापारियों को अपनी दुकान भीतर करनी होगी। शहर में सबसे ज्यादा अतिक्रमण व अवैध कब्जे शहर के व्यापारियों के नाम हैं।