कचहरी में टल गया एक और कत्ल
मुजफ्फरनगर : शुक्रवार को मुजफ्फरनगर कचहरी में कत्ल की एक और वारदात होते-होते टल गयी। क्राइम ब्रांच टीम ने दो बदमाशों को दबोच लिया। पुलिस पूछताछ में दोनों ने कचहरी में एक गवाह की हत्या के लिए पांच लाख की सुपारी लेना कबूल किया।
क्राइम ब्रांच की टीम व कोतवाली पुलिस ने गुरुवार देर रात जैन डिग्री कालेज के पास से दो युवकों को दबोच लिया। पूछताछ में दोनों ने अपने नाम पिंटू उर्फ मिंटू पंडित निवासी निवाड़ी, गाजियाबाद व अमित उर्फ छांगा निवासी दरेशपुर, किला परीक्षितगढ़ (मेरठ) बताए। दोनों से दो तमंचे व कारतूस बरामद किए। पूछताछ में दोनों ने बताया कि उन्होंने दो जुलाई को पल्लवपुरम, मेरठ में पल्हेड़ा के पास अनुपम पेट्रोल पंप के मैनेजर सुरेंद्र से सात लाख रुपये लूटे थे। दोनों ने यह भी बताया कि ऊन निवासी एक गवाह की कचहरी में हत्या करनी थी। इसके लिए बड़ौत के लून निवासी एक व्यक्ति ने पांच लाख की सुपारी दी है। सुपारी में एक और गवाह की हत्या करनी थी। पूछताछ के बाद पुलिस ने दोनों के खिलाफ मुठभेड़ का मुकदमा दर्ज कर उन्हें जेल भेज दिया।
आठ दिन पहले देख लिया था टारगेट
दोनों ने बताया कि सुपारी देने वाले व्यक्ति के भांजे ने आठ दिन पूर्व कचहरी में उक्त गवाह को दिखा दिया था, जिसकी हत्या करनी थी। इसके चलते वह उसके पीछे लगे हुए थे।
गुरुवार को होना था कत्ल
गुरुवार को कोर्ट में एक हत्याकांड की सुनवाई होनी थी, जिसमें उक्त व्यक्ति की गवाही थी। इसके चलते दोनों बदमाश कचहरी में पहुंच गए थे, लेकिन सुरक्षा व्यवस्था कड़ी होने के कारण वारदात को अंजाम नहीं दे सके। बाद में दोनों शहर में रुके, जहां से पुलिस ने उन्हें दबोच लिया।
आठ दिन पहले सुलगी थी कचहरी
11 जुलाई को दो किशोरों ने कचहरी में दिनदहाड़े ग्राम प्रधान की हत्या कर दी थी। घटना को मात्र आठ दिन हुए हैं। इसके चलते पुलिस इस मामले को लेकर और ज्यादा चौकस थी।
यह था मामला
मुजफ्फरनगर : झिंझाना थानाक्षेत्र के गांव ऊन निवासी सलेकचंद व शीशपाल के परिवार के एक व्यक्ति की रंजिश के चलते एक वर्ष पूर्व हत्या कर दी गयी थी। दोनों हत्याकांड में गवाह थे। मृतक बागपत के लून निवासी एक व्यक्ति का बहनोई था। इसके चलते लून निवासी व्यक्ति ने दोनों गवाहों की हत्या के लिए पांच लाख की सुपारी दे दी थी।
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