तेरा प्यारा सजा है दरबार भवानी
मेरठ : मंदिरों में मां भवानी के जयकारों, हवन पूजन और कीर्तन के साथ नवरात्र के शुभ अवसर पर घरों में म
मेरठ : मंदिरों में मां भवानी के जयकारों, हवन पूजन और कीर्तन के साथ नवरात्र के शुभ अवसर पर घरों में मां दुर्गा की मूर्ति और कलश की स्थापना हुई। मां जगदम्बा के दर्शन और पूजा आराधना के लिए जहां शहर के विभिन्न मंदिरों में सुबह से देर रात तक भक्तों की कतारें लगी रही, वहीं लोगों ने उपवास रख मां दुर्गा की विशेष पूजा की। मंदिरों को देशी-विदेशी फूलों और रंग बिरंगी रोशनी से सजाया गया है।
भक्तों ने किए दिव्य स्वरूप के दर्शन
सदर बाजार स्थित काली मां के दिव्य और अलौकिक दर्शन के लिए दिनभर भक्तों की भीड़ लगी रही। सुबह हवन पूजन और महाआरती के बाद मां काली का प्रयास भक्तों में वितरित किया गया। वहीं दोपहर में माता को विशेष तौर पर तैयार की गई खिचड़ी का भोग लगाया गया। वहीं भक्तों ने नारियल, माता का चोला और श्रृंगार चढ़ाकर मन्नत मांगी।
वैदिक मंत्रों से हुआ विशेष पूजन
सदर बाजार स्थित छोटी दुर्गाबाड़ी को नवरात्रि का पूजन वैदिक मंत्रों द्वारा विधि विधान से किया गया। मां के दरबार को जहां विभिन्न रंग के फूलों और लाइटों से सजाया गया। वहीं मां भवानी अपने दरबार में लाल रंग के चोले में विराजमान रही। मंदिर के आचार्य विशाल भारद्वाज शास्त्री द्वारा कलश स्थापना कर विशेष पूजा अर्चना की गई और दोपहर में मां के भक्तों ने माता रानी का कीर्तन किया।
नवरात्र में किया तिथि पत्र का विमोचन
मंगलवार को श्री बाबा औघड़नाथ शिव मंदिर में हवन पूजन कर भक्तों में प्रसाद वितरण किया गया। मां भवानी का श्रृंगार जहां कोलकाता के श्रृंगार से हुआ, वहीं उनका दरबार लाल गुलाब के फूलों से सजाया गया। साथ ही महापौर हरिकांत अहलूवालिया द्वारा तिथि पत्रों का विमोचन भी किया गया।
भजन और प्रवचन से किया मां का गुणगान
लालकुर्ती स्थित श्री शक्ति धाम मंदिर में नवरात्रि महोत्सव सत्संग समारोह का आयोजन किया गया। इस अवसर पर मां जगदम्बा के भजन और भगत नीरज मणि ऋषि द्वारा अमृतमयी दिव्य प्रवचन में भक्तों की भीड़ उमड़ी। मंदिर में सुबह से माता के दर्शन करने वालों की भीड़ लगी रही।
सुबह से शाम तक लगते रहे जयकारे
सूरजकुंड स्थित बाबा मनोहर नाथ में मां दुर्गा का दरबार फूलों से सजाया गया और हवन पूजन भी किया गया। गुरुमां नीलिमानंद ने बताया कि मां के भजनों और कीर्तन पर भक्तों ने मां का गुणगान किया। वहीं भवन दिनभर माता के जयकारों से गुंजायमान रहा।