जलाई गई किशोरी के सिर में थीं गंभीर चोट
जागरण संवाददाता, मथुरा: शोहदे द्वारा जिंदा जलाई गई किशोरी के सिर में गंभीर चोटें पाई गई। इन चोटों से
जागरण संवाददाता, मथुरा: शोहदे द्वारा जिंदा जलाई गई किशोरी के सिर में गंभीर चोटें पाई गई। इन चोटों से खून भी बहा था। नामजद शोहदे की तलाश में जुटी पुलिस पोस्टमार्टम रिपोर्ट से ठिठक गई है। औरंगाबाद क्षेत्र की घटना में पुलिस ने अन्य पहलुओं पर जांच शुरू कर दी है। फिलहाल नामजद आरोपी परिवार समेत फरार है। तनाव को देखते हुए गांव में पुलिस फोर्स तैनात किया गया है।
सदर क्षेत्र के औरंगाबाद गांव में मंगलवार को देवेंद्र ने अपनी 17 वर्षीय सौतेली बेटी सुरेखा को घर में घुसकर जिंदा जलाने का मुकदमा गांव के पदम सिंह उर्फ भोला के खिलाफ दर्ज कराया था। देवेंद्र का कहना था कि मंगलवार शाम को वह अपनी पत्नी सुनीता के साथ खेत पर गया था। घर में बेटी सुरेखा अकेली थी। इसी बीच पड़ोसी पदम ¨सह उर्फ भोला घर में घुसा और सुरेखा से छेड़खानी करने लगा। इसका विरोध करने पर भोला ने सुरेखा पर मिट्टी का तेल डालकर आग लगा दी, जिससे उसकी मौत हो गई। भोला इससे पहले भी छेड़खानी कर चुका था। इसी बात को लेकर मंगलवार सुबह उसकी भोला से कहासुनी भी हुई थी। पुलिस ने पुलिस ने सुरेखा के ताऊ प्रताप ¨सह की तहरीर पर भोला के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया। पुलिस जब तक आरोपी के घर पहुंची, वह परिवार के साथ फरार हो चुका था।
सुरेखा की पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद गुत्थी उलझ गई। रिपोर्ट में बताया गया है कि किशोरी के सिर पर पीछे की तरफ गंभीर चोट थी। इस चोट से खून भी बहा था। माना जा रहा है कि आग लगाने से पहले किशोरी के सिर पर जोरदार प्रहार किया गया, जिससे वह बेहोश हो गई होगी। जबकि दर्ज कराई गई एफआइआर में इस तरह की घटना का कोई जिक्र नहीं था।
एसएसपी डॉ.राकेश ¨सह का कहना है कि हत्या की घटना में आरोपों से जुदा भी कई बातें सामने आ रही हैं। अभी तक मामला पूरी तरह से स्पष्ट नहीं हुआ है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के आधार पर भी जांच कराई जा रही है।
भोला ही लाया था केरोसिन
सुरेखा के चाचा महेंद्र ¨सह ने जागरण को बताया कि भोला अपने साथ ही मिटटी का तेल लाया था। चीख-पुकार सुनकर परिजन दौड़े, तब तक सुरेखा पूरी तरह से जल चुकी थी।
मां ने की थी दूसरी शादी
देवेंद्र ने पहली पत्नी की मौत के बाद सुनीता से शादी की थी। सुनीता विधवा थी और पहले पति से उसकी बेटी सुरेखा थी। शादी के बाद वह मां के साथ देवेंद्र के घर आई थी। देवेंद्र भी उसे अपनी बेटी मानता था। 17 वर्षीय सुरेखा गोकुल के एक कॉलेज में 11वीं की छात्रा थी।
इन सवालों से पुलिस को शक
- देवेंद्र का घर घनी आबादी के बीच है। उसके मकान के अगल-बगल और पीछे मकान बने हैं और दरवाजा सीधे गली में खुलता है। ऐसी स्थिति में एक युवक घर में घुसकर बेटी को आग लगा गया और भाग भी गया, मगर कोई उसे पकड़ नहीं सका। यह बात संदेह खड़ा कर रही है।
-जिस कमरे में सुरेखा को जिंदा जलाया गया, वहां रजाई, बेड, फर्नीचर और अन्य सामान भी रखा हुआ था। मगर किसी सामान में आग नहीं लगी? जबकि आग लगने के बाद सुरेखा बचने के लिए भागी होगी, जिससे अन्य सामान भी जलता।
- छेड़खानी के विरोध में सुरेखा पर मिट्टी का तेल डालकर आग लगाई। इस दौरान वह चीखी चिल्लाई होगी। पड़ोसी क्यों नहीं दौड़े? वह तेल डालने के बाद घर के बाहर भी भाग सकती थी, मगर ऐसा नहीं हुआ।
- कमरे में किसी भी जगह केरोसिन के फेंके जाने के निशान नहीं मिले हैं?
- आग लगने पर पहुंचे परिजन किशोरी को अस्पताल लेकर क्यों नहीं दौड़े?