यूपीए की योजनाओं को री-पैकेजिंग कर रहे मोदी : जयराम
मोदी सरकार ने नया कुछ नहीं किया। यूपीए सरकार की योजनाओं को ही वह री पैकेजिंग कर उसकी मार्केटिंग रही है। गंगा सफाई अभियान के नाम पर भी केवल नाम बदला गया जबकि हालात और भी गड़बड़ हैं। हमने आईआईटी के विशेषज्ञों को इस काम की जिम्मेदारी सौंपी थी। जबकि,
लखनऊ। मोदी सरकार ने नया कुछ नहीं किया। यूपीए सरकार की योजनाओं को ही वह री पैकेजिंग कर उसकी मार्केटिंग रही है। गंगा सफाई अभियान के नाम पर भी केवल नाम बदला गया जबकि हालात और भी गड़बड़ हैं। हमने आईआईटी के विशेषज्ञों को इस काम की जिम्मेदारी सौंपी थी। जबकि, मोदी सरकार उसे केवल साधु संतों को लगा कर साफ कराने की बात कर रही है। बिहार में भाजपा मतदाताओं में धार्मिक ध्रुवीकरण के सहारे चुनाव लडऩा चाह रही है। भाजपा और सपा का मिलन इसे प्रोत्साहन दे रहा है जो लोकतंत्र के लिए बेहद घातक है, ओवैसी उसी की सोच का चेहरा है। देश के प्रधानमंत्री का वास्तविक नाम मौनेंद्र मोदी हो गया है। संसद में वह आते नहीं हैं और विदेश में ही उनके लंबे चौड़े भाषण सुनने को मिलते हैं।
यह बात पूर्व केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री जयराम रमेश ने सांसद अन्नू टंडन के उन्नाव आवास पर पत्रकार वार्ता में कही। उन्होंने कहा कि भूमि अधिग्रहण बिल पर हमारा विरोध ही काम आया और सरकार को झुकना पड़ा। अब हम जीएसटी बिल के लिए तैयार हैं। उन्होंने मनरेगा पर किए गए प्रश्न पर कहा कि मनरेगा जिन चार प्रदेशों को लेकर मनरेगा की योजना शुरू की गई थी आज वहीं पर उसकी सबसे अधिक हालत खराब है। इसमें यूपी, झारखंड, मध्यप्रदेश शामिल हैं। इसी से हमने सीबीआइ जांच के लिए मायावती और फिर अखिलेश सरकार से कहा था लेकिन दोनों में सीबीआइ जांच की जगह लिप्त अधिकारियों को और अधिक ऊंचे ओहदे पर भेज दिया गया। उन्होंने कहा मुख्यमंत्री अखिलेश यादव काफी होनहार और विकास की सार्थक सोच रखने वाले हैं लेकिन यह दुर्भाग्य इस प्रदेश का है जहां एक नहीं चार चार मुख्यमंत्री हैं। यहां का कुछ भी नहीं हो सकता। अच्छे दिन लाने के उनके वादे तो हवा-हवाई ही हो गए। शायद इसी से अब इसे चुनावी जुमले का नाम दे दिया है। जो वादे किए वह सभी खोखले साबित हुए। गुजरात मॉडल की पोल 22 साल के हार्दिक पटेल ने खोलकर रख दी। उन्होंने कहा कि कांग्रेस यूपी में किसी के समर्थन में नहीं अकेले दम चुनाव लड़ेगी। बिहार में भाजपा को बाहर रखने के लिए गठबंधन किया है।