वार्ड ब्वाय ने खुद को डॉक्टर बताकर किया इलाज, काटना पड़ा बच्चे का पैर
प्रदेश के सीएम अखिलेश यादव भले ही सूबे की चिकित्सा व्यवस्था को देश में सर्वश्रेष्ठ बता रहे हो, लेकिन वाराणसी में तो वार्ड ब्वाय सरकारी अस्पताल में खुद को डॉक्टर बताकर इलाज कर रहे हैं। वार्ड ब्वाज के इलाज के एक बच्चे का पैर सड़ गया और अब इस गलत
लखनऊ। प्रदेश के सीएम अखिलेश यादव भले ही सूबे की चिकित्सा व्यवस्था को देश में सर्वश्रेष्ठ बता रहे हो, लेकिन वाराणसी में तो वार्ड ब्वाय सरकारी अस्पताल में खुद को डॉक्टर बताकर इलाज कर रहे हैं। वार्ड ब्वाज के इलाज के एक बच्चे का पैर सड़ गया और अब इस गलत इलाज के कारण बच्चे का पैर काटना पड़ा।
वाराणसी के जैतुपरा नक्खीघाट के शंभूनाथ व सुनीता के नौ वर्षीय बेटे के पैर का कुछ हिस्सा तीन दिन पहले ट्राली से कट गया। उसके इलाज के लिए जब परिवार के लोग वाराणसी में मंडलीय अस्पताल पहुंचे तो वहां वार्ड ब्वाय दीना यादव ने खुद को डाक्टर बता कर मरहम पट्टी की। इस दौरान उसने टांके भी लगाये थे। इसके एवज में उसने 1500 रुपये ऐंठे। फिर अपने घर बुलाकर प्लास्टर किया। प्लास्टर के नाम पर उसने दो हजार रुपये वसूले। इसके कुछ दिन बाद बच्चे के पैर से दुर्गंध आने लगी। डॉक्टरों को दिखाया गया तो पता चला बच्चे को गैगरीन हो गया है। आज जब बच्चे को शिवपुर में एक निजी अस्पताल में दिखाया तो वहां पर बच्चे का पैर का कुछ हिस्सा काटना पड़ा।
इससे आक्रोशित परिवार के लोगों का कहना है कि वाराणसी के सीएमओ मंडलीय अस्पताल दीना यादव के खिलाफ कार्रवाई करें। इसी मांग को लेकर आज दिन में बच्चे के परिवार के लोगों ने अस्पताल में धरना देने के साथ ही चक्का जाम भी किया। इसके साथ ही साथ ही अस्पताल प्रशासन को ज्ञापन देकर कार्रवाई की मांग की है। अब परिवार के लोग वार्ड ब्वाय के खिलाफ केस दर्ज कराने थाना में डटे हुए हैं।