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मेट्रो ने यू गर्डर रखने का टारगेट किया पूरा

रफ्तार पकड़ी - प्राथमिक सेक्शन के 555 यू गर्डर दो साल से भी कम समय में रखे - आठ स्टेशनों पर चला

By Edited By: Published: Mon, 25 Jul 2016 01:00 AM (IST)Updated: Mon, 25 Jul 2016 01:00 AM (IST)
मेट्रो ने यू गर्डर रखने का टारगेट किया पूरा

रफ्तार पकड़ी

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- प्राथमिक सेक्शन के 555 यू गर्डर दो साल से भी कम समय में रखे

- आठ स्टेशनों पर चला अनवरत काम, ट्रैक बिछाने का काम हुआ तेज

जागरण संवाददाता, लखनऊ : नार्थ साउथ कॉरिडोर के प्राथमिक सेक्शन में लखनऊ मेट्रो रेल कॉरपोरेशन (एलएमआरसी) ने यू गर्डर रखने का काम पूरा कर लिया है। दो साल से भी कम समय में मेट्रो ने यू गर्डर रखने का रिकार्ड बनाया है। अब कार्यदायी संस्था द्वारा ट्रैक बिछाने का काम भी तेज कर दिया गया है। एलएमआरसी का उद्देश्य है कि अक्टूबर तक ट्रांसपोर्ट नगर से चारबाग मेट्रो स्टेशन तक ट्रैक का काम भी पूरा कर लिया जाए। कार्यदायी संस्था मवैया में स्पेशल स्पैन का काम पूरा करने के लिए लगी हुई है।

अमौसी स्थित कास्टिंग यार्ड से यू गर्डर को क्रेन की मदद से उठाकर लाना और फिर जमीन से कई फीट ऊंचाई पर रखने के लिए पूरी टीम को सतर्कता बरतनी पड़ती थी। हालांकि नब्बे फीसद काम एलएमआरसी रात में ही कराती थी। इस दौरान कुछ देर के लिए ट्रैफिक डायवर्ट भी किया जाता था। पूरे आठ किलोमीटर ट्रैक पर 555 यू गर्डर रखने का काम एलएमआरसी ने पूरा कर लिया है। मवैया स्टेशन के पास स्पेशल स्पैन का काम अक्टूबर तक पूरा करने में टीम लगी हुई हैं। एलएमआरसी का उद्देश्य है कि अगर अक्टूबर व नवंबर के प्रथम सप्ताह तक स्पेशल स्पैन का काम हो जाता है तो मेट्रो कोच आने के बाद ट्रायल शुरू करने में टीम को सोचना नहीं पड़ेगा।

स्टेशनों पर शुरू हुआ फिनिशिंग काम

ट्रांसपोर्ट नगर से चारबाग स्टेशन तक सिविल वर्क करीब-करीब खत्म हो गया है। टीम ने इन स्टेशनों पर फिनिशिंग का काम तेज कर दिया है। कृष्णा नगर व ट्रांसपोर्ट नगर स्टेशनों पर फिनिशिंग का काम भी चालीस फीसद के आसपास हो गया है। आलमबाग, आलमबाग बस अड्डा, सिंगारनगर, मवैया, दुर्गापुरी व चारबाग स्टेशनों पर फिनिशिंग का काम तेज हो गया है।

क्या है यू गर्डर

एलीवेटेड ट्रैक पर यू गर्डर रखा जाता है। यह यू के आकार का होता है। इस पर पटरियां बिछाई जाती हैं। मेट्रो चलाने के लिए दो यू गर्डर बराबर से रखे जा रहे हैं। एक यू गर्डर से मेट्रो जाएगी और दूसरे से आएगी।


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