बीएचयू और संस्कृत विवि परिसरों में मचा बवाल, सुरक्षाकर्मी पीटे गए
बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू) में आज अचानक कई बाइक पर सवार दर्जनों युवकों ने कई जगहों पर तोड़फोड़ और मारपीट शुरू कर दी। सुरक्षाकर्मियों को दौड़ा दौड़ा के पीटा गया। वीसी के काफिले की पेट्रोलिंग करने वाली जिप्सी को किया क्षतिग्रस्त। परिसर में अराजकता फैलता देख भारी फ़ोर्स तैनात कर
लखनऊ। बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (बीएचयू) और वाराणसी संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय परिसर आज बवाल और हंगामे की भेंट चढ़ गए। दोनो जगह जमकर हाथापाई, हंगामा, तोड़फोड की गई। सुरक्षाकर्मी भी सुरक्षित नहीं दिखे। बढ़ते बवाल को काबू करने के लिए दोनों परिसरों में विश्वविद्यालय प्रशासन को पुलिस का सहारा लेना पड़ा।
बीएचयू में सुरक्षाकर्मियों को पीटा-आज दोपहर काशी ङ्क्षहदू विश्वविद्यालय परिसर बवाल व तोडफ़ोड़ की घटनाओं से भभक उठा। छात्रों व सुरक्षाकर्मियों के बीच भिड़ंत के बाद स्थिति ऐसी बिगड़ी कि रैपिड एक्शन फोर्स, पीएसी, कई थानों की पुलिस के पहुंचने के बाद ही शांत हुई। दोपहर बीएचयू परिसर से बाहर सुसुवाही क्षेत्र में रहने वाले सामाजिक विज्ञान संकाय के छात्र भानुप्रताप सिंह, कला संकाय के ऋषभ व एक अन्य छात्र अभिषेक एक बाइक पर सवार होकर मुंह पर कपड़ा बांधे हैदराबाद गेट से अंदर आ रहे थे। सुरक्षाकर्मियों ने उन्हें रोका और बाइक की चाबी निकाल ली। उन्हें मुंह पर बंधे कपड़े खोलने व तीन सवारी की बाबत टोका। छात्रों को नागवार गुजरा व सुरक्षाकर्मियों से उनकी कहासुनी शुरू हो गई। इसी बीच एक सुरक्षाकर्मी ने लाठी चला दी। तब तक प्राक्टोरियल बोर्ड से कई सुरक्षाकर्मी वहां पहुंच गए और भानुप्रताप को चीफ प्रॉक्टर कार्यालय ले आए। वहां चैनल गेट बंदकर सुरक्षाकर्मी उसे पीटने लगे। इतने में दर्जनों की संख्या में साथी छात्र वहां पहुंचे और चैनल गेट तोड़कर भीतर घुस गए व पिटाई से घायल भानु को ट्रामा सेंटर ले आए। उधर, हैदराबाद गेट पर धक्के से गिरे छात्र अभिषेक की हालत भी गंभीर हो गई। इससे छात्रों का पारा सातवें आसमान पर पहुंच गया।हॉस्टलों से करीब 50 बाइक पर 100 से अधिक की संख्या में छात्र हॉकी, रॉड व डंडे से लैस होकर हैदराबाद गेट पहुंचे और वहां तैनात सुरक्षाकर्मियों को जमकर पीटा। इसके बाद बाद छात्रों ने घूम-घूम कर तोडफ़ोड़ व मारपीट कर फरार हो गए। पुलिस-प्रशासनिक अधिकारी रैपिड एक्शन फोर्स व पीएसी के साथ शाम को मौके पर पहुंचे और पूरे परिसर में पैदल मार्च किया। बवाल व तोडफ़ोड़ में घायल हुए सुरक्षाकर्मियों को सर सुंदरलाल चिकित्सालय में भर्ती कराया गया है। कितने सुरक्षाकर्मी घायल हुए हैं इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है। उधर, घटना की बाबत केंद्रीय कार्यालय में कुलपति प्रो. गिरीश त्रिपाठी, बीएचयू व जिला प्रशासन के अधिकारियों के बीच बैठक शुरू हो गई।
संस्कृत विवि में कुलपति से धक्का-मुक्की-छात्र की पिटाई से क्षुब्ध वाराणसी संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों ने आज हंगामा व प्रदर्शन किया। इस दौरान छात्रों ने विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। छात्र आरोपी अध्यापक पर कार्रवाई की मांग कर रहे थे। दूसरी ओर उन्हें समझाने पहुंचे कुलपति के साथ भी छात्रों ने धक्का-मुक्की की। छात्रों के आक्रोश को देखते हुए पुलिस फोर्स बुला ली गई। पुलिस ने छात्रों से इस संबंध में तहरीर स्वीकार करने का आश्वासन दिया। इसके बाद छात्रों का गुस्सा शांत हुआ। आचार्य द्वितीय खंड के जगदंबा मिश्र 'बलि का कहना था कि राष्ट्रीय कैडेट कोर (एनसीसी) के कई छात्रों को अब तक वर्दी नहीं मिली है, जबकि उन्हें स्वतंत्रता दिवस पर परेड में भी शामिल किया गया है। एनसीसी अध्यापक से वह यह कहने गया था। उन्होंने न केवल उसे धक्का देकर भगा दिया, अपितु हाथ भी छोड़ दिया। दूसरी ओर, एनसीसी अध्यापक डा. दिनेश गर्ग का कहना है कि सुबह स्वतंत्रता दिवस पर होने वाली परेड का वे पूर्वाभ्यास करा रहे थे। उसी समय जगदंबा किसी एक छात्र को वर्दी दिलाने के लिए दबाव बनाने लगा। समझाने पर उल्टे हाथापाई व अभद्रता पर उतर आया। ऐसे में उसे धक्का देकर भगा दिया। छात्र को पीटने के आरोप को उन्होंने खारिज कर दिया। इस संबंध कुलपति प्रो. यदुनाथ दुबे का कहना है कि दोनों पक्षों से घटनाक्रम का विवरण मांगा गया है ताकि इसके आधार पर कोई निर्णय लिया जा सके।
तीनों परिसरों का एक छात्रसंघ बनाने का विरोध-महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के छात्र तीनों परिसरों का एक छात्रसंघ गठित करने का विरोध कर रहे हैं। इसे लेकर छात्रों ने शुक्रवार को धरना-प्रदर्शन किया। छात्रों के विरोध को देखते हुए कुलपति ने छात्रों को गत वर्ष की भांति सिर्फ मुख्य परिसर का छात्रसंघ चुनाव कराने का आश्वासन दिया। इसके बाद छात्रों का आक्रोश शांत हुआ। विश्वविद्यालय प्रशासन ने हाल में ही संशोधित छात्रसंघ नियमावली वेबसाइट पर अपलोड किया है। इसमें गंगापुर, एनटीपीसी-सोनभद्र व मुख्य परिसर में संयुक्त रूप से छात्रसंघ चुनाव करने की बात कही गई है। छात्रों का कहना है कि लिंगदोह समिति की संस्तुतियों के तहत चुनाव में खर्च की सीमा पांच हजार रुपये तक सीमित कर दी गई है। इतने कम पैसे में सोनभद्र तक प्रचार करना प्रत्याशियों के लिए संभव नहीं होगा। ऐसे में तीनों परिसरों का चुनाव अलग-अलग कराया जाय।