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केंद्र के पत्र से प्रदेश सरकार की बेचैनी

लखनऊ। गन्ना समस्या को लेकर केंद्र सरकार के पत्र ने अखिलेश सरकार की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। इ

By Edited By: Published: Wed, 27 Aug 2014 10:51 AM (IST)Updated: Wed, 27 Aug 2014 10:51 AM (IST)
केंद्र के पत्र से प्रदेश सरकार की बेचैनी

लखनऊ। गन्ना समस्या को लेकर केंद्र सरकार के पत्र ने अखिलेश सरकार की मुश्किलें बढ़ा दी हैं। इस पत्र में केंद्र ने रंगराजन समिति की रिपोर्ट लागू करने के बारे में फैसला कर जल्दी जवाब मांगा है।

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केंद्रीय खाद्य एवं सार्वजनिक वितरण विभाग के सचिव सुधीर कुमार ने राज्य सरकार को पत्र लिखकर गन्ना मूल्य व चीनी मिल में लिंकेज स्थापित करने के बारे में जानकारी चाही और चीनी मिल संचालकों की मुश्किलों का हवाला भी दिया। सचिव सुधीर कुमार ने जून में लिखे पत्र का हवाला देते हुए कहा कि मुख्य सचिव की अध्यक्षता में गठित समिति भी रंगराजन समिति की संस्तुतियों के बारे में अपनी रिपोर्ट नहीं दे सकी है। चीनी मिलों की परेशानियों का समाधान जल्द से जल्द तलाश करें ताकि समय से पेराई सत्र आरम्भ हो। उन्होंने सिफारिश की है कि प्रदेश में चीनी रिकवरी कम एवं गन्ना का मूल्य अधिक होने से वित्तीय संतुलन बिगड़ रहा है। ऐसी स्थिति में प्रदेश की मिलें महाराष्ट्र व अन्य राज्यों से प्रतिस्पर्धा नहीं कर पाती हैं। उन्होंने बकाया गन्ना मूल्य का जिक्र करते हुए कहा 5159 करोड़ रुपये से अधिक रकम भुगतान न होने से किसान परेशान हैं। उन्होंने चीनी मूल्य व गन्ना मूल्य को लिंकेज करने का फैसला लेने का आग्रह किया है।

गन्ना विवाद गहराने के आसार

केंद्र सरकार की ओर से लगातार बन रहे दबाव के बावजूद राज्य सरकार की खामोशी के पीछे किसानों की नाराजगी बताया जा रहा है। किसान जागृति मंच के सुधीर पंवार का आरोप है कि गन्ना किसानों को दबाने का कुचक्र सफल नहीं होने दिया जाएगा क्योंकि मिलों की मर्जी के मुताबिक गन्ना मूल्य तय किया गया तो मुंह तोड़ जवाब दिया जाएगा। उल्लेखनीय है कि भाकियू कार्यकर्ता भी मुख्यमंत्री से मुलाकात करके रंगराजन समिति की रिपोर्ट को लागू करने की स्थिति में विरोध जताने का एलान कर चुके हैं। किसानों एवं मिल मालिकान के बीच जारी रस्साकसी में केंद्र सरकार के कूद जाने से गन्ना विवाद गहराने के आसार बढ़ गए हैं।

छह गोदामों से चीनी जब्त

सहारनपुर जिले की प्रशासनिक टीम ने देवबंद में चीनी मिल की लाखों कुंतल चीनी जब्त कर ली। त्रिवेणी शुगर मिल प्रशासन अपने गोदाम के पीछे की दीवार तोड़कर गुपचुप तरीके से ट्रकों से चीनी बेचने भेज रहा था। सूचना पर पहुंचे तहसीलदार ज्ञान प्रकाश त्रिपाठी ने लाखों कुंतल चीनी जब्त कर कई ट्रक चालकों को हिरासत में लिया है। तहसीलदार ने बताया कि मौके से 3 लाख 20 हजार कुंतल चीनी बरामद की गई है। मिल के खिलाफ कोर्ट की अवमानना का मुकदमा दर्ज कराया जाएगा। मालूम हो कि इलाहाबाद हाईकोर्ट ने किसानों के गन्ना भुगतान में हो रही देरी के चलते प्रदेश की सभी चीनी मिलों के गोदामों को सीज करने के बाद चीनी की नीलामी कर किसानों का गन्ना भुगतान करने का आदेश दिया था। देवबंद मिल पर किसानों का 42.60 करोड़ रुपया बकाया है। 14 अगस्त को देवबंद मिल में 3,71,252 कुंतल चीनी का स्टाक था।


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