सरकार को चूना लगा रही 'नेपाली सौफी'
लखीमपुर : इंडो-नेपाल बार्डर पर नेपाली सौफी पियक्कड़ों की पसंद बनती जा राही है। अब तो हालात ये हैं कि नेपाली सौफी आबकारी विभाग को हर महीने हजारों का चूना लगा रही है। सीमा पार से आने वाली ये कच्ची शराब रोकने के तमाम दावे खोखले साबित हो रहे हैं। अलबत्ता गाहे-बगाहे आबाकारी व पुलिस का कथित संयुक्त अभियान जरूर चलता है जिसमें तमाम लहन नष्ट करने का दावा कर अफसर अपनी ही पीठ खुद थपथपा लेते हैं। थाना क्षेत्र संपूर्णानगर के आस-पास के गांव में कच्ची शराब का धंधा कुटीर उद्योग की तरह फलफूल रहा है। इसमें आबकारी विभाग को लाखों का चूना लगाया जा रहा है।
क्षेत्र में कच्ची शराब व नेपाली सौफी धड़ल्ले से बेची जा रही है। यही नहीं सिंगाही खुर्द में लगभग दर्जनों घरों में कच्ची शराब के साथ नेपाली सौफी भी धड़ल्ले से बिक रही है। यहा की पुलिस अनजान बने बैठी है या फिर पुलिस की मिलीभगत से बिकना कहना भी कोई गलत नहीं होगा। क्योंकि थाने से चंद कदम की दूरी पर रोजाना खुलेआम कच्ची शराब व नेपाली सौफी बिकने से साफ पता चल रहा है। इसके अलावा क्षेत्र में पुरानी चक्की, मुरारखेड़ा, पुरवा, सुमेरनगर, प्रतापनगर, कमलापुरी, बसही आदि कई जगहों पर धड़ल्ले से बेची जा रही है। इसको रोकने में पुलिस द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। जबकि इस शराब से क्षेत्र में कई बार हादसे भी हो चुके हैं।