लोक अदालत में 593 वाद निबटे
जागरण संवाददाता, हाथरस : लोक अदालत में 593 वाद निस्तारित हुए। इसमें 496 लघु आपराधिक वादों का निस्तार
जागरण संवाददाता, हाथरस : लोक अदालत में 593 वाद निस्तारित हुए। इसमें 496 लघु आपराधिक वादों का निस्तारण कर 59,880 रुपया अर्थदंड के रूप में वसूल किए गए।
जिला जज जयशील पाठक ने पांच व्यवहारिक वादों का निस्तारण किया। एडीजे प्रथम कौटिल्य गौड़ ने 14 अंतिम आख्याओं का निस्तारण किया। प्रधान न्यायाधीश परिवार न्यायालय अल्ला रक्खे खान ने 12 भरण पोषण के वाद व सात अन्य वैवाहिक वादों का निस्तारण किया। 14 जोड़े राजी खुशी साथ-साथ गए। एडीजे कोर्ट संख्या दो विकास सक्सेना की अदालत ने एक मोटर दुर्घटना प्रतिकर वाद का निस्तारण कर पांच लाख रुपये प्रतिकर के रूप में दिलाए। एडीजे कोर्ट संख्या तीन एसएन त्रिपाठी ने तीन फौजदारी वादों का निस्तारण कर 13 हजार रुपया अर्थदंड के रूप में वसूल किए।
फास्ट ट्रैक कोर्ट एडीजे राजकुमार बंसल ने दो फौजदारी वादों का निस्तारण कर 5500 रुपये अर्थदंड के रूप में वसूल किए। एडीजे कोर्ट संख्या चार अल्पना सक्सेना ने एक विद्युत अधिनियम का मामला निपटाया। एडीजे कोर्ट संख्या 5 सुरेंद्र मोहन सहाय मौजूद रहे।
सीजेएम चित्रा शर्मा ने 250 लघु आपराधिक वादों का निस्तारण कर 17,860 रुपया अर्थदंड के रूप में वसूल किए। सिविल जज वरिष्ठ प्रभाग गौरव कुमार ने सात व्यवहारिक, चार उत्तराधिकार अधिनियम के वाद, ओमवीर एसीजेएम ने 41 लघु आपराधिक वादों का निस्तारण कर 16050 रुपया वसूल किए। सिविल जज कनिष्ठ प्रभाग राघवेंद्र मणि ने आठ व्यवहारिक, न्यायिक मजिस्ट्रेट मनोज कुमार जाटव ने सात वाद का निस्तारण कर दो सौ रुपया, अपर सिविल जज कनिष्ठ प्रभाग कोर्ट संख्या दो ने 17 वाद, ओमवीर ¨सह अपर सिविल जज न्यायिक मजिस्ट्रेट कोर्ट संख्या एक ने 13 वाद, नरेश कुमार दिवाकर अपर सिविल जज कनिष्ठ प्रभाग न्यायिक मजिस्ट्रेट सिकन्दराराऊ ने एक व्यवहारिक व 13 लघु वादों का निस्तारण किया। एसीजेएम सादाबाद विनीत कुमार वासवानी ने 2 व्यवहारिक व 15 लघु, वादों का निस्तारण कर 33 सौ रुपये अर्थदंड के रूप में वसूल किए। सिविल जज सादाबाद डॉ. शालिनी ¨सह ने एक वाद का निस्तारण कर पांच सौ रुपया वसूल किए। इस दौरान एसडीएम सादाबाद ने 22, एसडीएम हाथरस ने 44, सिकंदराराऊ ने 53 लघु वाद का निस्तारण किया। वहीं तहसीलदार सिकन्दराराऊ ने 10, हाथरस ने 40 व राजस्व वादों का निस्तारण किया।