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बीडीओ के लिए मुसीबत बनेगा लोहिया आवास

गोंडा: लोहिया ग्रामीण आवास योजना के संचालन में लापरवाही खंड विकास अधिकारियों से मुसीबत बन सकती है। प

By Edited By: Published: Sat, 23 Jul 2016 01:50 AM (IST)Updated: Sat, 23 Jul 2016 01:50 AM (IST)

गोंडा: लोहिया ग्रामीण आवास योजना के संचालन में लापरवाही खंड विकास अधिकारियों से मुसीबत बन सकती है। प्रमुख सचिव के फरमान से खंड विकास अधिकारियों की बेचैनियां बढ़ गई है। जिले के 16 ब्लॉकों में 225 आवासों के निर्माण के लिए द्वितीय किश्त की डिमांड अभी तक डीआरडीए को नहीं मिल सकी है। बीपीएल सूची से गायब गरीबों को आवास की सुविधा उपलब्ध कराने के लिए राज्य सरकार लोहिया ग्रामीण आवास योजना का संचालन कर रही है। योजना के तहत वित्तीय वर्ष 2015-16 में डा. राम मनोहर लोहिया समग्र ग्राम व गैर समग्र ग्राम में 1017 लाभार्थियों का चयन करके प्रथम किश्त जारी की गई थी। ¨लटेल स्तर तक आवास का निर्माण होने पर द्वितीय किश्त के लिए खंड विकास अधिकारियों से प्रस्ताव मांगे गए थे। लेकिन अभी तक विकास खंड तरबगंज, बेलसर, वजीरगंज, नवाबगंज, झंझरी, पंड़रीकृपाल, रुपईडीह, मुजेहना, इटियाथोक, कर्नलगंज, परसपुर, कटराबाजार, हलधरमऊ, मनकापुर, छपिया व बभनजोत से 225 आवास निर्माण के लिए प्रस्ताव डीआरडीए को नहीं मिल सके हैं। प्रमुख सचिव ग्राम्य विकास ने संबंधित जिलों के डीएम से 23 जुलाई तक प्रस्ताव न देने वाले बीडीओ के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रस्ताव मांगे हैं। ऐसे में महज दो दिन में प्रस्ताव भेजना बीडीओ के लिए किसी चुनौती से कम नहीं है। परियोजना निदेशक डीआरडीए वीरपाल ने बताया कि संबंधित ब्लॉक के बीडीओ को सूचित किया गया है।


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