कस्तूरबा विद्यालय बने पुरुष शिक्षकों के आशियाने
गाजीपुर : बात आश्चर्यजनक भले ही लगे लेकिन यह हकीकत है। कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालयों में पुरुष अध्यापक निवास करते हैं। वहीं शासन का स्पष्ट आदेश है कि वार्डेन व पूर्णकालिक महिला शिक्षकों के अलावा अगर कोई भी परिसर में जाता है तो उसे एक महिला अधिकारी होना अनिवार्य है
कस्तूरबा गांधी बालिका आवासीय विद्यालयों में तैनात वार्डेन शासन के नियमों की धज्जियां उड़ा रहीं हैं। वे अपनी मर्जी से पुरुष अध्यापकों को विद्यालयों में ठहरने की इजाजत देती हैं। बानगी के तौर भांवरकोल मे अंशकालिक शिक्षक तथा कासिमाबाद के कस्तूरबा विद्यालय गंगौली में पुरूष शिक्षक विद्यालय में ही रात्रि विश्राम करते हैं। गत माह जनवरी में सदर के कस्तूरबा विद्यालय मे वार्डेन के पति के रूकने की खबर तत्कालीन डीएम प्रभु एन सिंह को मिली। उन्होंने तत्काल वहां पहुंचकर वार्डेन के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया। कुछ दिनों तक ऐसा नहीं हुआ लेकिन उनके जाने के साथ ही यह सिलसिला फिर से शुरू हो गया है। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि विद्यालय परिसर में छात्राएं कितनी सुरक्षित हैं।
जांच कर होगी कार्रवाई
समेकित शिक्षा के समन्वयक अनुपम गुप्ता ने बालिका आवासीय विद्यालयों में पुरूष शिक्षकों की मौजूदगी पर हैरानी जताई। कहा कि विद्यालयों की जांच होगी। साथ ही पकड़े जाने पर कार्रवाई की जाएगी।
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