राजा के भाव बढ़ते ही शीतगृहों पर छापेमारी
जागरण संवाददाता, फीरोजाबाद : सब्जियों के राजा का मिजाज बिगड़ रहा है। जिले में आलू की कीमत लगातार बढ़ती जा रही है। इससे लोगों का स्वाद भी खराब हो गया है। वहीं गरीबों की थाली से आलू पूरी तरह गायब हो गया है। स्थिति को नियंत्रित करने के लिए जिला प्रशासन को कदम उठाने के लिए सक्रिय हो गया। डीएम के निर्देश पर अधिकारियों ने कोल्ड स्टोरेज पर छापेमारी शुरू कर दी है।
आलू की कीमत 20 रुपए से 35 रुपए प्रति किलो तक पहुंच गई है। मिठास रहित आलू 30 रुपए प्रति किलो से कम में नहीं मिल रहा। जबकि मीठा आलू 20 से 25 रुपये किलो बिक रहा है। ऐसा तब हो रहा है जबकि जिले में आलू की खेती बड़े पैमाने पर की जाती है। आसपास के अन्य जिलों की अपेक्षा सबसे अधिक कोल्ड स्टोरेज भी फीरोजाबाद में हैं। इसके बाद भी कीमत लगातार बढ़ने से प्रशासन हैरत में है। कारण जानने की कोशिश की गई तो पता चला कि कुछ कोल्ड स्टोरेज द्वारा जमाखोरी कर आलू की कृत्रिम कमी पैदा की जा रही है। डीएम विजय किरन आनंद ने हकीकत जानने के लिए सभी एसडीएम को अपने-अपने क्षेत्र के कोल्ड स्टोरेज पर छापेमारी करने के निर्देश दिए हैं। निर्देशों के क्रम में एसडीएम शिकोहाबाद रविंद्र सिंह ने दो कोल्ड स्टोरेज का जायजा लिया। उन्होंने गोवर्धन शीतगृह एवं एसपी कोल्ड स्टोर का स्टॉक रजिस्टर देखा। दोनों कोल्ड से अभी तक 25 से 30 फीसदी आलू की निकासी हुई है। एसडीएम टूंडला श्रीराम यादव ने कालेश्वर कोल्ड स्टोर पचोखरा एवं चूड़ामणि कोल्ड प्रतापपुर का निरीक्षण किया। यहां अब तक 50 फीसदी आलू की निकासी हुई है। प्रशासन की इस कारवाई से कोल्ड संचालकों में अफरातफरी मच गई है।
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आलू की बढ़ती कीमतों को देखते हुए कोल्ड स्टोरेज पर छापेमारी के निर्देश दिए हैं। ये जानने की कोशिश की जा रही है कि कहीं जानबूझकर कृत्रिम तरीके से आलू की कीमत तो नहीं बढ़ाई जा रही है। जो कोल्ड स्वामी ऐसा करता पाया गया, उसके खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
विजय किरन आनंद
जिलाधिकारी
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आलू के आयात से बढ़ी मुश्किल
जिले में आलू की कीमत बढ़ने का एक कारण उसका आयात होना भी है। पिछले साल आलू की फसल पर हुई ओलावृष्टि को भी एक कारण बताया जा रहा है। उससे काफी नुकसान हुआ था।