गैंगमैन ड्यूटी पर या नहीं, अब जीपीएस से नजर
जागरण संवाददाता, इटावा : हाल ही में हुए दो रेल हादसों के बाद उत्तर मध्य रेलवे निगरानी तंत्र क
गौरव डुडेजा, इटावा :
हाल ही में हुए दो रेल हादसों के बाद उत्तर मध्य रेलवे निगरानी तंत्र को मजबूत करने में जुट गया है। रेलवे ट्रैक की निगरानी में सबसे महत्वपूर्ण गैंगमैन अपने इस काम में कितना सक्रिय हैं, अब इस पर नजर रखी जाएगी। दरअसल, मुजफ्फरनगर और औरैया में हुए रेल हादसों के पीछे गैंगमैनों की कार्य प्रणाली पर सवाल उठे थे। उत्तर मध्य रेलवे गैंगमैनों की लोकेशन, उनकी गतिविधियों की मानीट¨रग जीपीएस के जरिए करेगा। इसके लिए गैंगमैनों को जीपीएस डिवाइस से लैस किया जाएगा।
पूरे देश में उत्तर मध्य रेलवे यह व्यवस्था सबसे पहले लागू कर रहा है। इससे रेल लाइन पर काम करने वाले गैंगमैन की रियल टाइम मानीट¨रग हो सकेगी। मौके पर जो कमियां हैं, उनकी रियल टाइम चे¨कग भी हो सकेंगी। अगर कोई लापरवाही होगी तो वह भी पकड़ में आ जाएगी। जीपीएस लगने से गैंगमैन की लोकेशन कंट्रोल रूम से जानी जा सकेगी। रेलवे ने कंट्रोल रूम टूंडला, कानपुर और इलाहाबाद में बना रखे हैं। उत्तर मध्य रेलवे का क्षेत्र इलाहाबाद से लेकर दिल्ली तक करीब साढ़े सात सौ किलोमीटर का है। गैंगमैन हर सेक्शन में पीडब्ल्यूआइ के अधीन काम करते हैं। इनके इंचार्ज सेक्शनल सीनियर डिवीजनल इंजीनियर दिनभर की गतिविधियों की निगाह रखेंगे और निर्देश जारी करेंगे। नई व्यवस्था के बाद गैंगमैन के अन्यत्र स्थानों पर ड्यूटी करने के मामलों पर भी विराम लगेगा।
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गैंगमैनों को जल्द जीपीएस डिवाइस दी जाएगी। उत्तर मध्य रेलवे देश में पहला ऐसा मंडल होगा जो गैंगमैनों को जीपीएस से लैस करेगा। इससे उनकी कार्यक्षमता को और बेहतर बनाया जा सकेगा।
-गौरव कृष्ण, मुख्य जनसंपर्क अधिकारी, उत्तर मध्य रेलवे।