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प्रमुख सचिव को सबकुछ मिला गड़बड़

जागरण संवाददाता, एटा: जिला अस्पताल में निरीक्षण को पहुंचे विशेष सचिव को व्यवस्थाओं में बड़ा झोल मिला।

By Edited By: Published: Mon, 24 Oct 2016 07:16 PM (IST)Updated: Mon, 24 Oct 2016 07:16 PM (IST)
प्रमुख सचिव को सबकुछ मिला गड़बड़

जागरण संवाददाता, एटा: जिला अस्पताल में निरीक्षण को पहुंचे विशेष सचिव को व्यवस्थाओं में बड़ा झोल मिला। जहां एक ओर अवैध रूप से वसूली किए जाने की शिकायतें सामने आईं, वहीं अस्पताल की रसोई खाली मिली। उन्होंने सीएमओ और सीएमएस को इंतजाम दुरुस्त करने की कड़ी हिदायत दी।

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विशेष सचिव ग्राम्य विकास अभिकरण और शासन द्वारा बनाए गए एटा के नोडल अधिकारी नरेंद्र कुमार ¨सह सोमवार सुबह सबसे पहले जिला अस्पताल पहुंचे। यहां कुछ लोगों ने सशुल्क सेवाओं की रसीद न बनाए जाने और निर्धारित से अधिक शुल्क लिए जाने की शिकायत की। इस पर सचिव ने कड़ी नाराजगी जताई। जब उन्होंने मरीजों का खाना पकाने के लिए अस्पताल की रसोई दिखाने की बात कही तो काफी देर तक मामला टालने की कोशिश की गई। न मानने पर जब उन्हें रसोई में ले जाया गया तो पता लगा कि वहां न खाना था और न राशन। इस पर भी उन्होंने कड़ी आपत्ति जताई। अस्पताल परिसर में खराब एंबुलेंस और गंदगी पर भी असंतुष्टि जाहिर की। सचिव ने पोषण पुनर्वास केंद्र, बाह्य रोगी विभाग, रेडियोलॉजी विभाग, महिला अस्पताल में निर्माणाधीन मैटरनिटी ¨वग आदि का भी निरीक्षण किया। इसी समय एक महिला ने विशेष सचिव के पैर पकड़ लिए। उसने अपनी बच्ची के अपहरण के प्रयास के बाद पुलिस द्वारा कार्रवाई न किए जाने की शिकायत की। इस पर सचिव ने कार्रवाई के निर्देश दिए।

इसके बाद उन्होंने जिला बेसिक शिक्षाधिकारी कार्यालय पहुंचकर निरीक्षण किया। शिक्षकों और स्कूली बच्चों से सवाल-जवाब कर शिक्षा की गुणवत्ता परखी। बीएसए एसएस यादव को निर्देश दिए कि ब्लाक एवं जनपद स्तर पर शिक्षा की गुणवत्ता की जांच को परीक्षाओं का आयोजन कराएं। अच्छे बच्चों को पुरस्कृत करें। इस अवसर पर सीडीओ प्रताप ¨सह भदौरिया, एडीएम वित्त महेश चंद्र शर्मा, पीडी आरके गौतम, डीआइओएस एसपी यादव, सीएमओ डॉ. आरसी पांडेय, सीएमएस डॉ. एके चतुर्वेदी आदि अधिकारी मौजूद थे।

बैठक कर की समीक्षा

निरीक्षण के बाद विशेष सचिव ने कलक्ट्रेट में अधिकारियों के साथ बैठक कर योजनाओं, कार्यक्रमों, विकास-निर्माण कार्यों की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि योजनाओं को पारदर्शिता के साथ लागू करें। आनलाइन शिकायत-समस्याओं को दर्ज किया जाए। प्रत्येक दफ्तर में कॉल सेंटर (सूचना केंद्र) स्थापित करने के निर्देश दिए। निर्माण कार्य कराने वाले विभाग एवं कार्यदायी संस्थाएं रिवाइज एस्टीमेट से बचें। इस दौरान वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक अजय शंकर राय, सीडीओ, एडीएम वित्त एवं राजस्व, सीएमओ, पीडी डीआरडीए, डीडीओ, डीआइओएस, बीएसए, सहित सभी जिला स्तरीय अधिकारी मौजूद रहे।


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