पूजा अर्चना को मंदिरों में उमड़ी श्रद्धालुओं की भीड़
जागरण संवाददाता, कासगंज (एटा): रविवार को देवछठ पर्व पर मंदिरों में पूजा अर्चना हुई। नगर के विभिन्न मंदिर सजाए गए थे। इस छठ को बलदेव जयंती के नाम से भी जाना जाता है। श्रद्धालुओं ने इस महापर्व में देवी षष्ठी को प्रसन्न करने के लिए व्रत रखकर मनौतियां भी मांगी। मंदिरों में प्रसाद का वितरण किया गया।
देवछठ पर बड़ी मान्यता है कि इस महापर्व में देवी षष्ठी माता और भगवान सूर्य को प्रसन्न करने के लिए स्त्री और पुरूष दोनों ही व्रत रखते हैं। व्रत करने वाले जल में स्नान कर इन डालों को उठाकर डूबते सूर्य एवं षष्टी माता को अर्घ्य देते हैं। सूर्यास्त के पश्चात लोग अपने अपने घर वापस आ जाते हैं। रात भर जागरण किया जाता है। सप्तमी के दिन सुबह ब्रह्म मुहूर्त में पुन:संध्या काल की तरह घरों में पकवान, नारियल केला, मिठाई भर कर नदी तट पर लोग जमा होते हैं। व्रत करने वाले सुबह के समय उगते सूर्य को आर्घ्य देते हैं। अंकुरित चना हाथ में लेकर षष्ठी व्रत की कथा कही और सुनी जाती है। कथा के बाद प्रसाद वितरण किया जाता है।
इसी मान्यता के चलते देवछठ पर कासगंज नगर के मंदिरों में पूजा अर्चना करने के लिए लोग उमडे़। नगर को कई मंदिर सजाए संवारे गए थे। मंदिरों में प्रसाद वितरण किया गया था। प्रात: से लेकर सायंकाल तक मंदिरों में धार्मिक अनुष्ठानों की धूम रही। लोगों ने पूजन अर्चन कर मनौतियां मांगी। गली सांभर वाली, सोरों गेट शीतला मंदिर सहित कई मंदिरों पर श्रद्धालुओं ने चरणामृत का प्रसाद वितरित किया।
वहीं बड़ी होली स्थित खिड़किया मंदिर पर महिलाओं द्वारा ने भजन कीर्तन का आयोजन किया गया। इस मौके पर शोभा, कंचन, मीना, तारा अग्रवाल, ललिता, कुसमा, सुचित्रा, मानवी अग्रवाल, रोली अग्रवाल, सावित्री, सविता, मुन्नी, रेनू सहित आदि श्रद्धालु मौजूद रहीं।