Move to Jagran APP

विधायक ने एसडीओ को कार्यालय में बंद कर पीटा

चित्रकूट, जागरण संवाददाता : समाजवादी पार्टी से सदर विधायक वीर सिंह ने साथियों के साथ मिल पर उप खंड अ

By Edited By: Published: Sat, 03 Dec 2016 01:01 AM (IST)Updated: Sat, 03 Dec 2016 01:01 AM (IST)

चित्रकूट, जागरण संवाददाता : समाजवादी पार्टी से सदर विधायक वीर सिंह ने साथियों के साथ मिल पर उप खंड अधिकारी विद्युत को कार्यालय में बंदकर पीटा है। एसडीओ ने विधायक व जिला शासकीय अधिवक्ता सहित आधा दर्जन से अधिक लोगों के खिलाफ कोतवाली में मामला दर्ज कराया है। एसडीओ से मारपीट पर बिजली कर्मचारी आक्रोशित हो गए और हड़ताल पर चले गए। नाराज कर्मचारियों ने जिले की आपूर्ति ठप कर दी जो रात करीब आठ बजे सुचारु हो सकी।

loksabha election banner

उप खंड अधिकारी कर्वी अशीष कुमार के मुताबिक घुस मैदान स्थित अपने कार्यालय में वह शुक्रवार को करीब 2.30 बजे विभागीय कार्य कर रहे थे। तभी सदर विधायक वीर सिंह पटेल, जिला शासकीय अधिवक्ता अशोक गुप्ता, पवन पटेल और संतराम पटेल सहित 4-5 अज्ञात व्यक्ति उनके आफिस में आए। कार्यालय में मौजूद बाबू अहसानुज्जमा को धक्का मारकर गिरा दिया। इतना होते ही कार्यालय में हड़कंप मच गया। विधायक के साथ आए लोगों ने कार्यालय की कर्मचारी शांती देवी, चंद्रकली, मणिशंकर तिवारी, रजनीश, अमित कुमार और अजय कुमार सहित उपभोक्ताओं को भगा दिया और दरवाजा बंद कर लिया। एसडीओ का आरोप है कि इसके बाद सदर विधायक ने उनको लात, घूसों आदि से जमकर मारा पीटा, कपड़े फाड़ दिए और मोबाइल छीन लिया। साथ ही कागजात फाड़ डाले व कंप्यूटर उठाकर फेंक दिया। वही सदर विधायक वीर सिंह का कहना है कि विद्युत विभाग के कार्यालय में किसी प्रकार की कोई मारपीट नहीं हुई है। एसडीओ ने खुद कुर्सी, कागजात व कंप्यूटर आदि फेंक दिए हैं। वे जनप्रतिनिधि हैं कोई बुलाएगा तो जाएंगे। विद्युत विभाग में शासकीय अधिवक्ता का कार्य था जिसके लिए वह गए थे। सभी आरोप पूरी तरह से गलत हैं।

घटना के बाद जैसे ही विभागीय अधिकारियों व कर्मचारियों को जानकारी हुई तो सभी आक्रोशित हो गए। बनकट पावर हाउस से जिले की बत्ती गुल कर दी गई और बिजली कर्मचारी संघ के प्रांतीय सचिव रामलाल पाल व अवर अभियंता सुनील पटेल सहित तमाम कर्मचारी कोतवाली पहुंच गए। यहां पर विधायक के खिलाफ नारेबाजी करते हुए गिरफ्तारी की मांग की।

क्या था मामला

बताते हैं कि विवाद व मारपीट की वजह एक लाइन सिफ्िटग का स्टीमेट है। शासकीय अधिवक्ता अशोक गुप्ता ने एक विद्युत लाइन हटाने के लिए आवेदन किया था। विभाग ने लाइन सिफ्ट करने के लिए करीब चार लाख रुपये का स्टीमेट बनाया था। एसडीओ के मुताबिक विधायक इस स्टीमेट को सिर्फ 50 हजार रुपये बनाने का दवाब बना रहे थे। जिसको उन्होंने ठुकरा दिया था क्योंकि ऊपर की लाइन हटाने के साथ दो सौ मीटर अंडर ग्राउंड लाइन डालनी थी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.