फिर गहराया नकदी का संकट
बस्ती : नोटबंदी के बाद बैंकों में एक बार फिर करेंसी संकट पैदा हो गया है। भारतीय स्टेट बैंक हो या फिर
बस्ती : नोटबंदी के बाद बैंकों में एक बार फिर करेंसी संकट पैदा हो गया है। भारतीय स्टेट बैंक हो या फिर पूर्वांचल या पंजाब नेशनल बैंक। कमोवेश सबके यहां नकदी का संकट है। ऐसे में ये बैंक ग्राहकों को भुगतान देने से कतरा रहे हैं। प्रतिदिन जमा होने वाले धन से काम चलाया जा रहा है। जनपद के अधिकतर एटीएम ड्राई हो गए है।
बैंकों में नोट की किल्लत ऐसे समय में शुरू हुई है जब लगन का मौसम है। जिन घरों में शहनाई बजनी है उन्हें रुपये की सख्त जरूरत है और वह बैंक में ही मिलेगा। शहर में स्थित बैंकों में तो भुगतान की प्रक्रिया चल रही, लेकिन ग्रामीण क्षेत्र के अधिकतर बैंकों में नकदी नहीं है। बैंक ग्राहकों की माने तो यह समस्या 10 दिन से बनी हुई है, न एटीएम साथ दे रहे न ही बैंकों से भुगतान मिल रहा,ऐसे में शादी का कार्यक्रम फीका हो रहा। बैंक अधिकारियों की माने तो भारतीय रिजर्व बैंक ने पिछले 10 दिनों से नोट नहीं उपलब्ध करा रहा, ऐसे में भुगतान की प्रक्रिया पर ब्रेक लग गया है। हां इतना जरूर है कि जो जमा के पैसे आ रहे वहीं भुगतान कर रहे। पूर्वांचल बैंक मालवीय रोड शाखा प्रबंधक आरपी ¨सह ने बताया कि पिछले आठ दिनों से नोट आरबीआइ से नहीं मिल रहे, लेकिन जमा धन से काम चल रहा। स्टेट बैंक कोर्ट एरिया प्रबंधक ने बताया कि जो पैसे आ रहे उसी से भुगतान किया जा रहा है। आरबीआइ से रुपये न मिलने से दिक्कत है।
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सेंट्रल बैंक का खजाना भरा :
सेंट्रल बैंक का खजाना वैसे भरा हुआ है, शहर से लेकर ग्रामीण इलाकों के बैंकों व एटीएम में रुपये पर्याप्त होने से यहां भीड़ बढ़ी हुई है। बैंकों में कम लेकिन एटीएम में भीड़ देखी जा रही है। एपीएन कालेज शाखा के एटीएम में लोग रुपये निकालते दिखे। प्रबंधक रमेश चंद्र ने बताया कि यहां ऐसी कोई दिक्कत नहीं है, भुगतान जिसको जितना चाहिए उनको दिया जा रहा है।
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एक दर्जन एटीएम ड्राई : शहरी क्षेत्र में दो दर्जन एटीएम हैं। इनमें से चार को छोड़कर बाकी शुक्रवार को ड्राई रहे। पैसे के लिए उपभोक्ता एक से दूसरे एटीएम पर भटकते रहे। मालवीय रोड के एक्सिस, बैंक आफ बड़ौदा, पंजाब व स्टेट बैंक के एटीएम खुले रहे, लेकिन रुपये नहीं थे। इसी तरह रोडवेज, गांधीनगर, सुभाष तिराहा, कंपनीबाग का रहा। यहंा के एटीएम बंद रहे।
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कौन सुने इनकी पीड़ा
बभनान हलुआ बाजार निवासी राजेंद्र कहते हैं कि न बैंक से रुपये मिल रहे न ही एटीएम में है, 10 हजार की जरूरत है, लेकिन नहीं मिल रहा। शहर के आधा दर्जन एटीएम में गए कहीं पैसे नहीं मिले। महादेवा से आए राम किशुन कहते हैं कि इस एटीएम से उस एटीएम में रुपये के लिए जा रहे, लेकिन पैसे नहीं है। चिलमा बाजार से शहर आए अजय दूबे रुपये के लिए भटकते मिले, बताया कि कई एटीएम पर गए पर पैसे नहीं मिले। शिवकुमार हरैया से एटीएम में पैसे निकलने के लिए एटीएम में लाइन लगाए थे, पता चला रुपये नहीं है, वह निराश होकर लौट गए।
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आरबीआइ से पखवारे भर से नोट नहीं मिल रहा। जो जमा के रुपये हैं उसी से भुगतान किया जा रहा है। नोट के लिए आरबीआइ व हेड आफिस को पत्र लिख गया है। आरबीआइ से आश्वासन मिल रहा, नोट आएगा तो मिलेगा। शादी-विवाह वाले घरों के उपभोक्ताओं पर ध्यान दिया जा रहा है। दिक्कत है, लेकिन काम चलाया जा रहा।
उत्तम वर्मा, आरएम भारतीय स्टेट बैंक
नकदी के लिए पूरे दिन बैंक पर जमी रही महिलाएं
वाल्टरगंज, भानपुर, बस्ती: स्थानीय कस्बे में संचालित भारतीय स्टेट बैंक में कैश की समस्या के चलते उपभोक्ताओं को समय से भुगतान नहीं मिल पा रहा है। इस समय शादी-विवाह का समय चल रहा है। ऐसे में नगदी न मिल पाने से लोगों को खासी परेशानियां उठानी पड़ रही हैं।
शुक्रवार को बैंक खुलते ही दूर दराज गांवों के खाता धारक रुपये निकालने के लिए बैंक पर जमा हो गए। बैंक खुलने के बाद बताया गया कि कैश न होने के कारण उन्हें भुगतान नहीं मिल सकेगा। बानगढ़ की अकाला देवी ने बताया कि वे कई दिनों से बैंक का चक्कर काट रही हैं। लेकिन पैसे नहीं मिले। बड़ा बढ़या निवासी रमा देवी ने बताया कि रुपये निकालने में पूरा दिन लग जा रहा है, जिससे घर का काम-काज प्रभावित होता है। कुसम्हा की माधुरी गुप्ता ने बताया कि लू के चलते घर से निकलना मुश्किल है, फिर भी मजबूरी में बैंक तक आना पड़ा। इसके बाद भी भुगतान नहीं मिला। अभिषेक राजभर, मन्नू राजभर, महेश चौधरी, लालचन्द चौधरी, प्रदीप कुमार, राम सजीवन, संदीप, राम करन आदि उपभोक्ताओं को भुगतान न मिलने के कारण मायूस हो लौटना पड़ा।