फर्जी नाम पर मरीजों को लूट रहा एक्स-रे सेंटर
बस्ती : जिला चिकित्सालय के गेट नंबर दो पर खुलेआम एक नामचीन डायग्नोस्टिक सेंटर के नाम पर फर्जी एक्सर
बस्ती : जिला चिकित्सालय के गेट नंबर दो पर खुलेआम एक नामचीन डायग्नोस्टिक सेंटर के नाम पर फर्जी एक्सरे सेंटर संचालित किया जा रहा है। बगैर चिकित्सक संचालित सेंटर पर जहां मरीजों को लूटा जा रहा है वहीं स्वास्थ्य प्रशासन को भी चूना लग रहा है। अप्रशिक्षित हाथ मरीजों को केवल एक्स-रे की फिल्म उपलब्ध कराते हैं, जबकि रिपोर्ट नहीं देते। इस सेंटर से दूसरे डायग्नोस्टिक सेंटर की रसीद भी जारी की जा रही है। स्वास्थ्य विभाग के नाक के नीचे चल रहे इस एक्स-रे सेंटर की जानकारी मुख्य चिकित्सा अधिकारी को हुई है। सीएमओ ने जांच के आदेश दिए हैं।
हुआ यूं कि 28 मार्च 15 को दांत के एक चिकित्सक ने ओपीजी नामक जांच दिव्यांश नाम के मरीज को लिखी। इस जांच को चिकित्सक ने सुपर एडवांस डायग्नोस्टिक सेंटर जिला चिकित्सालय के गेट नंबर दो पर कराने की सलाह मरीज को दी। मरीज वहां पहुंचा तो भीतर एक युवक से बातचीत कर चिकित्सक के बारे में जाना, मगर वहां मौजूद व्यक्ति ने घूमा फिरा कर अपनी बात की। मरीज ने अपना एक्स-रे करवाया और इसकी कीमत साढ़े पांच सौ रुपया देने के बाद रसीद मांगी। सेंटर ने जो रसीद दी वह मालवीय रोड की थी, जिस पर मरीज ने आपत्ति जताई तो बताया गया कि इस सेंटर की प्रधान शाखा वहीं है और उसी के नाम पर रसीद दी जाती है। शक होने पर मरीज ने मालवीय रोड स्थित डायग्नोस्टिक सेंटर से संपर्क साधा तो असलियत सामने आ गई। पूर्व में यह सेंटर मालवीय मार्ग पर स्थित डायग्नोस्टिक सेंटर के माध्यम से ही संचालित होता था, मगर लंबे समय से दोनो अलग हो गए अब इस सेंटर से उसका कोई लेना देना नहीं है। यह जानकारी होने के बाद मरीज के परिजनों ने सीएमओ डा. जेपी सिंह से संपर्क साधा और पूरी बात बताई। फर्जी सेंटर संचालित होने की भनक लगते ही उन्होंने संबंधित अधिकारियों को जांच के निर्देश दिए हैं।
खबर है कि विभागीय साठगांठ से चल रहे फर्जी सेंटर की शिकायत की जानकारी जैसे ही सेंटर के कथित प्रबंधक को हुई वह विभागीय कर्मियों से संपर्क कर पंजीकरण कराने की जुगत भिड़ाने में जुट गया है।
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होगी कार्रवाई
मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा. जेपी सिंह ने बताया कि शिकायत मिली है। इसकी जांच करने के लिए डिप्टी सीएमओ को आवश्यक निर्देश दे दिए गए हैं। मरीज के स्वास्थ्य से खिलवाड़ करने वालों को दंडित किया जाएगा। जरूरत पड़ी तो इस मामले में संबंधित के खिलाफ मुकदमा दर्ज होगा।
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पंजीकरण के लिए दिया आवेदन
अपने सेंटर का प्रबंधक बताने वाले साहिल ने कहा कि यह सही है कि उनका पंजीकरण अभी नहीं हुआ है, मगर इसका आवेदन कर दिया जाएगा। नए वित्तीय वर्ष से सेंटर नियमानुसार होगा। यह सही है कि अभी तक बिना पंजीकरण इसे चलाया जा रहा है। वैसे पूर्व में इसे मालवीय रोड स्थित डायग्नोस्टिक सेंटर के पंजीकरण पर चलाया जा रहा था। रही फर्जी रसीद की बात तो गलती हुई है। अब से ऐसा नहीं किया जाएगा।