अल्ट्रासाउंड के लिए तड़पती रही गर्भवती
बहराइच : इसे संवेदनहीनता कहा जाय तो गलत न होगा। जिला चिकित्सालय में अल्ट्रासाउंड की मशीन उपलब्ध है।
बहराइच : इसे संवेदनहीनता कहा जाय तो गलत न होगा। जिला चिकित्सालय में अल्ट्रासाउंड की मशीन उपलब्ध है। लेकिन इसके चिकित्सक मिलना आसान नहीं है। सामान्य रोगों के मरीज अल्ट्रासाउंड के लिए इंतजार भी कर सकते हैं, लेकिन उनकी सोचिए जो गर्भवती हैं और जिन्हें तत्काल अल्ट्रासाउंड की आवश्यकता है। शायद जिम्मेदार इससे दूर हो गए हैं।
सोमवार को कोतवाली नानपारा पुलिस ने एक गर्भवती महिला को अल्ट्रासाउंड के लिए जिला चिकित्सालय भेजा। होमगार्ड दो घंटे तक पुलिस के अभिलेख लेकर चिकित्सक का इंतजार करता रहा, लेकिन वे अपराह्न एक बजे तक नहीं आए। नानपारा पुलिस ने गर्भवती महिला कांती देवी पत्नी मुन्ना लाल निवासी पकरा देवरिया को अल्ट्रासाउंड के लिए थाने के होमगार्ड पैरू प्रसाद के साथ जिला चिकित्सालय भेजा था। परिजनों ने बताया कि वे सुबह ही अल्ट्रासाउंड के लिए आ गए, लेकिन चिकित्सक कई घंटे बाद भी नहीं आए। ऐसी सूरत में गंभीर मरीज को तत्काल अल्ट्रासाउंड की आवश्यकता होती है। सूबे की सरकार स्वास्थ्य के बेहतर सेवाओं का दावा कर रही है। आए दिन उच्चीकृत चिकित्सालय के भवनों का जनप्रतिनिधि शिलान्यास करते हुए फोटो खिंचवाते हैं, लेकिन उन्हें सोचना होगा कि ऐसे भवनों का क्या उद्देश्य? जहां जिम्मेदार संवेदनहीन हो चुके हैं।
जल्द होगा समस्या का निदान : सीएमएस
सीएमएस डॉ. माहेश्वरी पाण्डेय का कहना है कि जिला चिकित्सालय में तैनात अल्ट्रासाउंड चिकित्सक का स्थानान्तरण होने के बाद मथुरा निवासी एक चिकित्सक की तैनाती यहां हुई थी। अभी तक उन्होंने प्रभार ग्रहण नहीं किया है जिसके चलते अल्ट्रासाउंड के लिए आने वाले मरीजों को भारी परेशानी उठानी पड़ रही है। उन्होंने कहा कि दलालों पर नजर रखने के लिए टीम गठित की गई है। किसी मरीज या तीमारदार को जानकारी हो तो टीम के सदस्यों के साथ उन्हें सूचित करें।