मुआवजा न मिलने से खफा किसानों ने भरी हुंकार
कंचौसी (औरैया) संवादसूत्र : 250 मेगावाट के प्रस्तावित कोयला आधारित विद्युत संयंत्र से जुड़ा भूमि अधिग्रहण का मामला तूल पकड़ रहा है। जिन किसानों की जमीन पावर प्रोजेक्ट के लिए अधिग्रहीत की गई है। उन्हें मुआवजा नहीं मिला है ऐसे में बुधवार को आक्रोश फूट पड़ा। सात गांवों के किसानों ने प्रोजेक्ट के अधिकारियों के खिलाफ नारेबाजी की, कहा कि यदि वर्तमान सर्किल रेट के मुताबिक मुआवजा न मिला तो बड़ा आंदोलन किया जाएगा। इस मामले की जानकारी जिला प्रशासन को भी दी गई है।
मालूम हो कि कंचौसी गांव के पास यूएम पावर प्रोजेक्ट की आधारशिला रखी है। इस प्रोजेक्ट के लिए औरैया जिले के सेहुद, जमौली व कंचौसी गांव तथा कन्नौज संसदीय क्षेत्र के नौगवां, सूखमपुर, हरतौली व ढिकियापुर की 445 एकड़ जमीन सन् 2013 में अधिग्रहीत की गई थी। करीब 720 किसानों की जमीन अधिग्रहीत कर ली गई, लेकिन मुआवजा नहीं मिला। बुधवार को नाइंसाफी को लेकर सैकड़ों की संख्या में किसानों ने प्रोजेक्ट के निर्माणाधीन गेट पर हंगामा किया। किसान नेता नरेन्द्र सिंह यादव ने बताया कि जब जमीन अधिग्रहीत की गई थी तो उस दौरान एक लाख रुपए बीघा का रेट लगाया गया था जिस पर किसान राजी नहीं हुए थे। बावजूद प्रशासनिक अधिकारियों ने प्रोजेक्ट के कर्ताधर्ताओं के साथ मिलकर किसानों की जमीनों को बिक्री में ले लिया। मुआवजा पुराने रेट पर दिया जा रहा है जो अमान्य है। प्रदीप तिवारी, अभय राम राजपूत, राम सिंह, सियादेवी, राम दुलारी, राधा देवी आदि किसानों का कहना है कि वर्तमान सर्किल रेट के चार गुना मुआवजा उन्हें दिया जाए।