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अटके बहुत रोड़े, काम हुए थोड़े

धर्मेश अवस्थी, इलाहाबाद : संगम शहर से 'अच्छे दिन' की आहट सुनाई पड़ने लगी है। आम आदमी से जुड़ी समस्याओं

By Edited By: Published: Tue, 26 May 2015 01:55 AM (IST)Updated: Tue, 26 May 2015 01:55 AM (IST)
अटके बहुत रोड़े, काम हुए थोड़े

धर्मेश अवस्थी, इलाहाबाद : संगम शहर से 'अच्छे दिन' की आहट सुनाई पड़ने लगी है। आम आदमी से जुड़ी समस्याओं को दूर करने को कारगर प्रयास हुए हैं। कई योजनाओं पर मुहर लग गई है तो तमाम काम फाइलों से निकलने के लिए छटपटा रहे हैं। यह सब तब हुए हैं, जब विरोधी दल की प्रदेश सरकार एवं सरकारी मशीनरी पर हर कार्य में बाधा डालने को तैयार रहे। यह कहना है इलाहाबाद संसदीय क्षेत्र से सांसद श्यामाचरण गुप्त का। उनके अनुसार कई योजनाओं को केंद्र की स्वीकृति मिलने के बाद भी उन पर काम शुरू नहीं हो पाया है। इलाहाबाद संसदीय क्षेत्र से बीते लोकसभा चुनाव में 'मोदी लहर' पर सवार होकर संसद पहुंचे श्री गुप्त के क्षेत्र में वैसे अधिकांश समस्याएं साल बीतने के बाद भी जस की तस हैं। सांसद इसके पीछे विपक्षी दल की प्रदेश सरकार के असहयोगात्मक रवैये को जवाबदार बताते हैं। वैसे बिजली आपूर्ति जैसे कुछ क्षेत्र हैं जहां अच्छे दिन नजर आ रहे हैं। सांसद के अनुसार केंद्र सरकार की पहल पर बिजली व्यवस्था में काफी सुधार हुआ है। केंद्र से प्रदेश को आपूर्ति भी पर्याप्त मिल रही है। इसके चलते पिछले वर्षो की अपेक्षा इस बार गर्मी में आपूर्ति बेहतर है।

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सड़क : इलाहाबाद शहर व यमुना पार क्षेत्र में सड़कों का जाल बिछाने व मरम्मत आदि के लिए करीब सौ प्रस्ताव प्रदेश सरकार को भेजे, लेकिन उनमें से एक को भी स्वीकृति नहीं मिली। केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री सड़क निर्माण योजना के तहत घूरपुर से अमलिया तक 32 किमी व बेंदों से भिटरिया तक नौ किमी सड़क निर्माण को स्वीकृति दी है, लेकिन अब तक कार्य शुरू नहीं कराया गया है।

सिंचाई : यमुना पार क्षेत्र में हर खेत को पानी पहुंचाने के लिए प्रदेश सरकार को कई प्रस्ताव दिए हैं, पर वहां से सहयोग नहीं मिला। अब केंद्र सरकार से अनुरोध किया है कि ट्यूबवेल, नहर या लिफ्ट योजना के तहत सिंचाई की व्यवस्था की जाए।

पेयजल : यमुना पार के पथरीले क्षेत्र में टंकी बनाकर पाइप लाइन के जरिए पीने के पानी की आपूर्ति कराने की तैयारी है। केंद्र सरकार से चर्चा चल रही है। जल्द ही केंद्रीय मंत्री को लेकर यहां का हाल दिखाएंगे, ताकि कारगर समाधान हो जाए। हैंडपंप लगने के बाद बिगड़ने पर न तो आम लोग ध्यान देते हैं न ही प्रशासन। आगे से सांसद निधि से हैंडपंप नहीं लगवाएंगे।

स्वच्छता : पूरे संसदीय क्षेत्र में इसे तेजी से शुरू किया है। मनरेगा, अन्य शासकीय योजना से एवं सांसद निधि का भरपूर उपयोग इसमें किया जा रहा है। शौचालय निर्माण कराए जा रहे हैं। स्वीकृत धन से अब तक कार्य नहीं हुआ है।

संसदीय क्षेत्र में उपलब्धता

सांसद गुप्त का कहना था कि लोकसभा में एक दिन को छोड़कर 99 फीसदी दिन मौजूद रहे हैं। संसद की वित्त एवं संसदीय समितियों का सदस्य होने के नाते कई स्थानों पर बैठकों में शामिल हुए। बाकी दिन क्षेत्र में ही बीता है।

संसद में उठाए यह प्रकरण

-नैनी औद्योगिक क्षेत्र का विकास कराने, उद्योगों का पुनर्जीवन, नए उद्योगों की स्थापना कराने की मांग की। पुराने कर्मियों को एरियर व अन्य भुगतान देने की भी मांग की।

-करछना से लेकर कोरांव, कोहड़ार व कुड़ियार में यमुना, टोंस नदी से असिंचित भूमि की सिंचाई कराने की मांग की।

-क्षेत्र में मनरेगा के कार्यो में आवंटित पैसा कहां खर्च हुआ इस की जांच की करने व अधूरे कार्य पूरे करने की मांग की।

-करछना व छिवकी रेलवे स्टेशन पर उपरिगामी सेतु की स्वीकृति रेल मंत्रालय ने दी है। एक पर कार्य शुरू है व दूसरे का टेंडर हो रहा है। ऊंचडीह, जसरा व भीरपुर में उपरिगामी सेतु के प्रस्ताव हैं।

-ओलावृष्टि का मुद्दा प्रमुखता से संसद में उठाया। कोरांव क्षेत्र के लिए साढ़े तीन करोड़ की किश्त जारी हुई है। चेक वितरित हो रहे हैं। अब भी कई करोड़ रुपये मिलेंगे। अभी क्लेम बाकी है। उनकी जांच हो रही है।

- प्रधानमंत्री सहायता कोष से 12 माह में 50 लोगों को जिसमें पांच मुस्लिम व दस दलित बच्चे शामिल हैं को 50 हजार से पांच लाख रुपए इलाज के लिए दिलाया।

-अक्षयवट के दर्शन की 24 घंटे व्यवस्था की जा रही है। यह स्थान पर्यटन स्थल के रूप में विकसित किया जाएगा। किले से सेना को छिवकी स्थानांतरित किया जाएगा।

सांसद निधि का इस्तेमाल

सांसद निधि से ककहरा घाट मीरापुर, अरैल, सिरजा सुजावन, भीटा, मनैया आदि करीब सात स्थानों पर शवदाह गृह एवं विश्राम गृह बनवाने में सवा करोड़ रुपए दिए हैं। 25-25 लाख के दो कम्युनिटी सेंटर रामपुर एवं शुकुलपुर में बनवाए जा रहे हैं। यहां पर गरीब अपने पारिवारिक व सामुदायिक आयोजन कर सकेंगे। 150 कार्य सांसद निधि से स्वीकृत हो चुके हैं। स्कूलों में एक से तीन कक्ष निर्माण के लिए पैसे स्वीकृत किए गए हैं।

अगले साल की योजनाएं

- मांडा व मेजा रोड से इलाहाबाद आने जाने वालों की समस्या को देखते हुए शटल ट्रेन चलाने की मांग अभी लंबित है।

जल्द ही शंकरगढ़, बारा, करछना व कोरांव में कम्युनिटी सेंटर स्वीकृत होंगे।

-देश में तीन स्मार्ट सिटी बनाने का एलान हुआ है। इसमें इलाहाबाद को भी शामिल किया गया है। यहां उम्दा संगम स्थल, नया इलाहाबाद, हवाई अड्डा, पर्यटन स्थल, पार्क, घाट आदि बनेंगे।

यूपी सरकार अड़ंगेबाज

सांसद श्यामाचरण गुप्त ने कहा है कि यहां पर विकास कार्य कराना बेहद कठिन कार्य है। प्रदेश में हमारी सरकार न होने से हर कदम पर अड़ंगे अटकाए जा रहे हैं। पूरी सरकारी मशीनरी व्यवधान खड़े कर रही है। हर केंद्रीय योजना को वह अपनी बताकर धन लूटना चाहते हैं और अपने कार्यो को पूरा न कर पाने का दोष केंद्र पर डालते हैं।

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निधि पर सख्त हुए श्यामाचरण

इलाहाबाद के सांसद श्यामाचरण को एक साल में पांच करोड़ रुपए की सांसद निधि मिलनी चाहिए थी। इसकी पहली किश्त ढाई करोड़ रुपए की आई भी, लेकिन अब तक पहली किश्त के उपभोग प्रमाण पत्र जमा न होने से दूसरी किश्त जारी नहीं हो पाई है, जबकि दूसरा साल शुरू हो रहा है। सांसद बोले, करीब पांच करोड़ के प्रस्ताव वह प्रशासन को सौंप चुके हैं, फिर भी सर्वेक्षण, आगणन बनाने में देरी हो रही है। सांसद ने सोमवार को जिलाधिकारी को पत्र भेजा है इसमें कहा गया है कि जिन स्कूलों को उन्होंने कक्ष निर्माण आदि के लिए धन देने की संस्तुति की है, उनकी जांच करा ली जाए। यदि मेरे अलावा किसी सांसद, विधायक या फिर विधान परिषद सदस्य आदि ने उस स्कूल को धन दिया है तो मेरी संस्तुति निरस्त कर दी जाए। बोले, सांसद निधि हड़पने का उद्यम वह चलने नहीं देंगे। वहीं प्रशासन का दावा है कि सांसद के खाते में अभी 29 लाख रुपए शेष हैं।


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