बाजारू संस्कृति से विलुप्त हो रही पंजाबी भाषा
By Edited By: Published: Sun, 31 Aug 2014 10:15 PM (IST)Updated: Sun, 31 Aug 2014 10:15 PM (IST)
इलाहाबाद : उत्तर प्रदेश पंजाबी अकादमी के तत्वावधान में रविवार को हिन्दुस्तानी एकेडमी में पंजाबी भाषा एवं संस्कृति का विलुप्त होता मूलस्वरूप विषय पर संगोष्ठी हुई। मुख्य अतिथि डा. सुचेत गोइंदी तथा विशिष्ट अतिथि एसएसपी दीपक कुमार थे। दिल्ली विश्वविद्यालय के प्रो. डा. रविन्दर कुमार ने कहा कि पंजाबी भाषा एवं संस्कृति के विलुप्त हो रहे स्वरूप का कारण मीडिया, बाजारू संस्कृति, फिल्में, लचर व कानफोड़ू संगीत है। संगोष्ठी में उप्र. की एकमात्र पंजाबी मासिक पत्रिका के संपादक नरेंद्र सिंह मोगा, डा. सत्येंद्र पाल सिंह व सरदार आतमजीत सिंह ने भी विचार रखे। संचालन त्रिलोचन सिंह ने किया। राना चावला, अनिल कुमार हांडा, विजय अरोरा,चंद मखीजा, राजीव चावला जोगिन्दर सिंह आदि उपस्थित थे।
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