डिजिटल इंडिया में भवन बनेंगे रोड़ा!
जागरण संवाददाता, अलीगढ़: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सपनों का भारत यानी डिजिटल इंडिया बनने की ओर
जागरण संवाददाता, अलीगढ़:
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के सपनों का भारत यानी डिजिटल इंडिया बनने की ओर अग्रसर है, मगर प्रदेश सरकार की उदासीनता इसमें आड़े आ सकती है। चयनित नौ ब्लाकों में फाइबर ऑप्टिकल केबल बिछाने का कार्य 90 फीसद पूरा हो चुका है, मगर ग्राम पंचायतों में ई-केंद्र कहां स्थापित होंगे? इसे लेकर प्रदेश सरकार अभी सुस्त है। इससे डिजिटल इंडिया की राह में भवन रोड़ा बन सकते हैं।
बता दें कि अलीगढ़ और हाथरस जिलों में से इगलास पहला ऐसा ब्लॉक बनने जा रहा है, जिसके हर गांव में हाईस्पीड इंटरनेट सेवाएं पहुंचने वाली हैं। यहां के सभी 64 गांवों तक ऑप्टिकल फाइबर (एक किस्म की केबल) बिछ चुकी है। दो एक्सचेंज में टर्मिनल की स्थापना हो चुकी है। ये पूरा होते ही गांव-गांव ई-केंद्र स्थापित करने की योजना है। ई-केंद्र के माध्यम से ग्रामीणों को हाईस्पीड ब्रॉडबैंड से ऑनलाइन पढ़ाई, टेलीमेडिसन (डॉक्टरी मदद), खसरा-खतौनी, प्रमाण-पत्र, नौकरी के लिए आनलाइन आवेदन समेत तमाम सुविधाएं मुहैया कराने की योजना है।
अफसरों की चिंता
बीएसएनएल के अफसर इगलास में जल्द काम पूरा होने को लेकर आश्वस्त हैं। इसके बाद सासनी, लोधा व बिजौली एक्सचेंज में ओएलटी स्थापित की जाएगी, मगर अफसर इस बात को लेकर चिंतित हैं कि ई-केंद्र स्थापित करने के लिए प्रदेश सरकार ने कोई पहल अभी तक नहीं की है। ई-केंद्र के लिए ग्राम पंचायतों में भवन चाहिएं, मगर अभी तक कहीं भी उपलब्धता नहीं है। अधिकारियों ने केंद्रीय कार्यालय को पूरी स्थिति से अवगत करा दिया है और दिशा-निर्देश भी मांगे गए हैं।
इनका कहना है..
बीएसएनएल कनेक्टिविटी पहुंचाने के लिए तैयार है, मगर ग्राम पंचायतों में ई-केंद्र के लिए भवन नहीं हैं। उच्चाधिकारियों से निर्देश मांगें हैं कि इस स्थिति में लोगों को हाईस्पीड ब्रॉडबैंड का लाभ किस तरह दिया जाए।
- केपी वर्मा, महाप्रबंधक बीएसएनएल।