परोपकारी और कल्याणकारी है शिवत्व
भगवान शिव कल्याणकारी देवता माने गए हैं। शंकर का तात्पर्य होता है कल्याण करना। अच्छे भाव से दूसरों की मदद करना और दूसरे के प्रति कल्याण की भावना रखना शिवत्व है। कल्याण की भावना होना ही शिव पूजन होता है। शिव पूजन में शक्ति और शिव दोनों की पूजा एक
भगवान शिव कल्याणकारी देवता माने गए हैं। शंकर का तात्पर्य होता है कल्याण करना। अच्छे भाव से दूसरों की मदद करना और दूसरे के प्रति कल्याण की भावना रखना शिवत्व है। कल्याण की भावना होना ही शिव पूजन होता है। शिव पूजन में शक्ति और शिव दोनों की पूजा एक साथ की जाती है।
भगवान शिव स्वयं त्याग की मूर्ति भी हैं। भक्तों पर प्रसन्न रहते हैं। इसीलिए उन्हें महादेव कहा जाता है, क्योंकि सृष्टि कल्याण को लेकर वह सर्वोपरि भी हैं। त्याग और तपस्या के कारण ही शिव को देवों का देव भी कहा जाता है। भोले बाबा निस्वार्थभाव से की गई छोटी सी भक्ति से भी प्रसन्न हो जाते हैं।