Move to Jagran APP

इस मंदिर में रामनवमी और जन्माष्टमी पर निसंतान महिलाओं की गोद भराई होती है

यहां राम और लक्ष्मण की मूंछों वाली प्रतिमाएं हैं। ऐसा माना जाता है कि यहां दिए जाने वाले विशेष धागे से महिलाओं को गर्भपात की समस्या से मुक्ति मिल जाती है

By Preeti jhaEdited By: Published: Wed, 01 Jun 2016 02:36 PM (IST)Updated: Thu, 02 Jun 2016 10:34 AM (IST)
इस मंदिर में रामनवमी और जन्माष्टमी पर निसंतान महिलाओं की गोद भराई होती है

इंदौर शहर के जूनी इंदौर क्षेत्र में राम का अपने आप में अनूठा मंदिर है। यहां राम और लक्ष्मण की मूंछों वाली प्रतिमाएं हैं। ऐसा माना जाता है कि इस तरह का दुर्लभ मंदिर मध्यप्रदेश में तो संभवत: कहीं नहीं है। लाल मंदिर के नाम से विख्यात इस मंदिर का निर्माण करीब 180 साल पहले यानी संवत 1888 में हुआ था। राम, सीता, लक्ष्मण के साथ ही इस मंदिर में राधा-कृष्ण और गणेशजी की भी मूर्तियां हैं। मंदिर में रामायण और महाभारत से जुड़े प्रसंगों की भी आकर्षक तस्वीरें लगी हुई हैं।

loksabha election banner

यहां राम के साथ स्वयंभू हनुमान जी भी विराजित हैं। इस मूर्ति के बारे में कहा जाता है कि राम मंदिर बनने के करीब 10 साल बाद यह प्रतिमा परिसर में स्थित कुएं से निकली थी। मंदिर सांप्रदायिक सौहार्द की भी मिसाल है। मंदिर में स्थित कुएं के पानी का सभी धर्म और जाति के लोग उपयोग करते हैं। वेबदुनिया के अनुसार इस मंदिर में पूजा-अर्चना का काम पुजारी परिवार ही देखता है।

लाल मंदिर में रामनवमी, हनुमान जयंती और जन्माष्टमी पर विशेष आयोजन होते हैं। विशेष अवसरों पर मंदिर के भगवान नगर भ्रमण पर भी निकलते हैं। खासकर यहां संतानहीन दंपत्ति संतान की कामना लेकर आते हैं। इसके लिए रामनवमी और जन्माष्टमी पर निसंतान महिलाओं की गोद भराई होती है।

पुजारी का दावा है कि शनिवार और मंगलवार को मंदिर दिए जाने वाले विशेष धागे से महिलाओं को गर्भपात की समस्या से मुक्ति मिल जाती है। मंदिर में सुबह 7 बजे और शाम 7.30 बजे आरती होती है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.