गायों की मौत का सिलसिला जारी, बारिश में गायें मरती भी ज्यादा हैं : मंत्री
सरकारी गौशाला में गायों के मरने का सिलसिला जारी है। हिंगोनिया गौशाला में रविवार को 85 गायों की मौत होने की अधिकारिक घोषणा की गई।
जयपुर [ नरेन्द्र शर्मा ]। जयपुर स्थित सरकारी गौशाला में गायों के मरने का सिलसिला रविवार को भी जारी रहा। हिंगोनिया गौशाला में रविवार को 85 गायों की मौत होने की अधिकारिक रूप से नगर निगम के अधिकारियों द्वारा घोषणा की गई। इससे पहले जुलाई माह में ही यहां एक हजार गायों की मौत हो चुकी है। गायों की लगातार मौत से एक तरफ तो मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे ने गंभीरता दिखाते हुए दो मंत्रियों, मुख्य सचिव एवं अन्य अधिकारियों को गौशाला का निरीक्षण करने भेजा और दो जिम्मेदार अधिकारियों को निलम्बित किया। वहीं दूसरी ओर प्रदेश सरकार के मंत्री इस मामले में गैर जिम्मेदाराना बयान देते हुए एक-दूसरे पर जिम्मेदारी टाल रहे है।
राज्य में पहली बार बने गौपालन मंत्रालय के मंत्री ओटाराम देवासी का कहना है कि हमारा विभाग गौशाला संभालने को तैयार है, लेकिन स्वायत्त शासन मंत्री राजपाल सिंह शेखावत दे ही नहीं रहे।
उन्होंने साफ कहा कि गायों की मौत के लिए मेरा विभाग और मै जिम्मेदार नहीं बल्कि नगर निगम और स्वायत्त शासन मंत्री की जिम्मेदारी है।
स्वायत्त शासन मंत्री राजपाल सिंह शेखावत का कहना है कि गौपालन मंत्री ने कभी हम से गौशाला नहीं मांगी। इधर राज्य के कृषि मंत्री प्रभूलाल सैनी ने सरकार की गंभीरता के विपरीत बयान देते हुए कह दिया कि बारिश में तो गायें मरती ही ज्यादा है। इसमें सरकार कुछ नहीं कर सकती।
उन्होंने कहा कि पिछले पांच दिनों में औसत 55-60 गायों की प्रतिदिन मौत हुई है। गायों की मौत पर जहां एक ओर सरकार के तीन मंत्री गैर जिम्मेदाराना बयानबाजी कर रहे है। वहीं प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सचिन पायलट ने एक बयान जारी कर कहा कि प्रधानमंत्री को इस मामले में गंभीरता दिखाते हुए प्रसंज्ञान लेना चाहिए।
उन्होंने कहा कि पीएम राज्य सरकार से जवाब मांगे। जयपुर के कांग्रेसजनों ने रविवार को गायों की मौत पर सद्बुद्धि यज्ञ किया।