कमलजीत को आतंकियों ने मारी थी तीन गोलियां, मरा समझ कर गए थे छोड़
संवाद सहयोगी, दीनानगर : शहर पर हुए आतंकी हमले में गोलियां लगने के कारण गंभीर जख्मी होकर दोनों बाजू ग
संवाद सहयोगी, दीनानगर : शहर पर हुए आतंकी हमले में गोलियां लगने के कारण गंभीर जख्मी होकर दोनों बाजू गंवा चुके कमलजीत मठारू ने अपनी बेटी के लिए सरकारी नौकरी की मांग की है। उसका कहना है कि हाथ नकारा होने के कारण वह कोई काम नहीं कर सकता है और उसका ढाबे का कारोबार पूरी तरह से ठप्प हो चुका है। परिवार में पत्नी के अलावा मंदबुद्धि पुत्र है जबकि बेटी प्राइवेट नौकरी करती है।
दीनानगर हमले के दौरान आतंकियों ने सबसे पहले कमलजीत को निशाना बनाते हुए उसको तीन गोलियां मारी थी और उसको मरा हुआ समझ कर छोड़ गए थे। इस उपरांत उसका अमृतसर के अलग-अलग अस्पतालों में कई महीने इलाज चला और बांयी बाजू में गोलियों के कारण इंफेक्शन बढ़ने पर डॉक्टरों ने उसकी बाजू काट दी।
उसने कहा कि पंजाब सरकार द्वारा अन्य जख्मियों की तरह 3 लाख रुपए तो मिले थे परन्तु अस्पतालों में लंबे इलाज के दौरान सभी पैसे खर्च हो गए। इस कारण घर का गु•ारा पिछले दो सालों से रिश्तेदारों की मेहरबानी और बेटी के सहयोग से बहुत मुश्किल से चल रहा है। उसने कहा कि उसने कई नेताओं और अलग-अलग समय पर तैनात रहे डीसी को उसकी पड़ी लिखी बेटी को नौकरी दिए जाने की मांग की, परन्तु सिवाए परेशानी के कुछ भी हाथ न लगा। उ