अक्षय नवमी: आंवले के नीचे भोजन
मानव को अक्षय प्रदान करने वाली कार्तिक शुक्लपक्ष की नवमी (अक्षय नवमी) गुरुवार को श्रद्धा से मनाई गई। मिंटो पार्क, भारद्वाज पार्क, सरस्वती घाट सहित हर छोटे-बड़े पार्को में पूरे दिन मेला लगा रहा।
इलाहाबाद। मानव को अक्षय प्रदान करने वाली कार्तिक शुक्लपक्ष की नवमी (अक्षय नवमी) गुरुवार को श्रद्धा से मनाई गई। मिंटो पार्क, भारद्वाज पार्क, सरस्वती घाट सहित हर छोटे-बड़े पार्को में पूरे दिन मेला लगा रहा। अक्षय नवमी पर आंवले के पेड़ के नीचे भोजन करने का विशेष विधान है। ऐसी मान्यता है कि कार्तिक माह में शरीर को कई संक्त्रामक रोग एक साथ घेरते हैं, आंवले के नीचे भोजन करने से शरीर निरोग रहता है। सुबह से लोग परिवार के साथ पार्को में पहुंचने लगे। दोपहर तक यहां लोगों का झुंड लग गया था। महिलाओं ने पहले आंवले के पेड़ का विधिवत पूजन कर उसमें टीका लगाया फिर पेड़ का सात और नौ चक्कर लगाकर उसमें कच्चा सूत लपेटा। इसके बाद शुरू हुआ दाल, बाटी-चोखा आदि बनाने का सिलसिला। इस दौरान किसी ने कंडे से तो किसी ने गैस चूल्हे पर ही भोजन तैयार किया। इसके बाद परिवार समेत वहीं पर उसे ग्रहण किया। यह सिलसिला देर शाम तक चला। इसके पहले घरों में सुबह पूजा-पाठ का आयोजन हुआ। ब्राहृमणों को भोजन कराकर सफेद कद्दू के साथ स्वर्ण और द्रव्य (धन) का दान किया।
जमकर हुई खरीदारी- अक्षय नवमी पर दुकानों में काफी भीड़ रही। आभूषण, कपड़े के साथ इलेक्ट्रॉनिक सामानों के शोरूम में देर रात तक खरीदार जुटे रहे। ऐसी मान्यता है कि कार्तिक शुक्लपक्ष की नवमी पर किए गए कार्य का कभी क्षय नहीं होता इसी कारण स्वर्ण आभूषण सहित कई नए सामानों की खूब खरीददारी हुई।
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