यमुना रक्षा को सैकड़ों की पदचाप
कभी कल-कल निनाद करने वाली यमुना की दुर्दशा शहरवासियों को हर वक्त परेशान करती है। हर कोई चाहता है कि दशकों पूर्व जिस तरह कालिंदी निश्छल और पवित्र रूप में प्रवाहित थी, वह उसी रूप में वापस आए। श्रद्धालु यमुना महारानी को गर्व से अपनी माई कह सकें।
आगरा। कभी कल-कल निनाद करने वाली यमुना की दुर्दशा शहरवासियों को हर वक्त परेशान करती है। हर कोई चाहता है कि दशकों पूर्व जिस तरह कालिंदी निश्छल और पवित्र रूप में प्रवाहित थी, वह उसी रूप में वापस आए। श्रद्धालु यमुना महारानी को गर्व से अपनी माई कह सकें। ऐसे में ताज नगरी के निवासी भी यमुना बचाओ आंदोलन में अपनी सहभागिता जोर-शोर से करेंगे।
वृंदावन (छटीकरा) से दिल्ली तक यमुना रक्षक दल की शुक्रवार से शुरू हो रही पदयात्रा में शामिल होने के लिए बड़ी संख्या में लोग आगरा से रवाना हो रहे हैं। ये सभी यमुना शुद्धिकरण अभियान में अपने सुर मिलाएंगे। यमुना प्रेमी यहां से सुबह वृंदावन पहुंचेंगे। इनमें 250 ग्रामीण तो बाह से निजी वाहनों से रवाना होंगे। शाहगंज से एक बस शुक्रवार प्रात: 8 बजे रवाना होगी। मन:कामेश्वर मंदिर के महंत योगेशपुरी भी यमुना प्रेमियों के साथ शुक्रवार को रवाना होंगे। उन्होंने बताया कि फिलहाल एक बस की व्यवस्था मंदिर से की गयी है। हाथीघाट पर पांच साल से यमुना सत्याग्रह करने वाले पं.अश्रि्वनी कुमार मिश्र भी रावतपाड़ा से निजी वाहनों से रवाना होंगे। आगरा कैंट, कलाल खेरिया आदि क्षेत्रों से भी तमाम नागरिक निजी वाहनों से वृंदावन पहुंचेंगे। यात्रा 10 मार्च को दिल्ली पहुंचेगी। बीच-बीच में सुविधा अनुसार आगरा वासी इस में भाग लेते रहेंगे। यात्रा में एक हजार से ज्यादा लोग ताज नगरी से अंत तक पहुंचेंगे। यमुना रक्षक दल के राष्ट्रीय सचिव धर्मेद्र त्यागी के अनुसार यात्रा का उद्देश्य हथिनीकुंड पर यमुना जल में अवरोध दूर कराना है। वाहनों पर बैनर लगाये जाएंगे, जिन पर लिखा होगा-जन-जन की है यही पुकार, हथिनी कुंड के खोलो द्वार।
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