सुरकंडा मंदिर तक में रोप-वे मार्ग बने
वरिष्ठ कांग्रेसी नेता व पूर्व नगर पंचायत अध्यक्ष पीयूष उनियाल ने कहा कि सिद्धपीठ सुरकंडा मंदिर में सड़क नहीं ले जानी चाहिए। इसके अलावा रोपवे बनाने से भी मंदिर के अस्तित्व को खतरा पैदा हो जाएगा।
चम्बा। वरिष्ठ कांग्रेसी नेता व पूर्व नगर पंचायत अध्यक्ष पीयूष उनियाल ने कहा कि सिद्धपीठ सुरकंडा मंदिर में सड़क नहीं ले जानी चाहिए। इसके अलावा रोपवे बनाने से भी मंदिर के अस्तित्व को खतरा पैदा हो जाएगा।
सोमवार को आयोजित बैठक में वक्ताओं ने कहा कि धार्मिक स्थलों को सीधे सड़क से नहीं जोड़ना चाहिए। उन्होंने कहा कि यदि मंदिर तक सड़क या रोप-वे मार्ग बन जाएगा, तो इससे भोगवादी पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। जहां पेड़-पौधे हैं, वहां प्लास्टिक व कू ड़े का साम्राज्य होगा। सुरकंडा मंदिर वैसे भी सड़क से मात्र डेढ़ किमी. दूर है। इसके बदले वहां अच्छे संपर्क मार्ग, बैठने की सुविधा व पेयजल की सुविधा प्रदान की जाए।
चम्बा- प्रखंड के जनप्रतिनिधियों ने सिद्धपीठ सुरकंडा मंदिर में यात्रियों की सुविधा को रोप-वे मार्ग बनाने की मांग की है। जनप्रतिनिधियों का कहना है कि सुरकंडा मंदिर सड़क से बहुत दूर है इसलिए यहां के लिए रोप-वे मार्ग सबसे अच्छा विकल्प है।
रोप-वे की मांग को लेकर मुख्यमंत्री को भेजे ज्ञापन में कहा गया कि सिद्धपीठ सुरकंडा जो कि क्षेत्र का सबसे प्रसिद्ध मंदिर हैं। यहां प्रतिवर्ष लाखों श्रद्वालु आते हैं। लोगों को मंदिर तक जाने के लिए पैदल खड़ी चढ़ाई चढ़नी पड़ती हैं। मंदिर तक सड़क ले जाना संभव भी नही है इसलिए यात्रियों की सुविधा के लिए यहां रोप-वे मार्ग सबसे बेहतर है। सांसद प्रतिनिधि प्रेमदत्त तिवारी ने बताया कि रोप-वे का प्रस्ताव क्षेत्र पंचायत चम्बा की बैठक में भी सर्वसम्मति से पारित किया गया उसके बाद ही मुख्यमंत्री क ो भेजा किया गया। उन्होंने बताया कि इस पर जल्द कार्यवाही होगी ऐसी उम्मीद है। ब्लॉक प्रमुख स्वर्ण सिंह रावत ने कहा कि सुरकंडा मंदिर को रोपवे मार्ग से जोड़ने की मांग लंबे समय से की जा रही है। यदि यह सुविधा हो गई, तो यात्रियों की संख्या बढ़ेगी जिससे मंदिर की आय भी बढ़ेगी और स्थानीय लोगों को भी लाभ मिलेगा।
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