सूर्य का वृश्चिक से धनु राशि में आज प्रवेश
मार्गशीर्ष शुक्ल तृतीया तद्नुसार शनिवार की रात 9.25 बजे सूर्य वृश्चिक से धनु राशि में प्रवेश कर जाएंगे। इसके साथ ही खरमास यानी धनुमास शुरू हो जाएगा। सूर्य के मकर राशि में जाने तक यानी एक माह के लिए मंगल कार्यो पर विराम लग जाएगा।
वाराणसी। मार्गशीर्ष शुक्ल तृतीया तद्नुसार शनिवार की रात 9.25 बजे सूर्य वृश्चिक से धनु राशि में प्रवेश कर जाएंगे। इसके साथ ही खरमास यानी धनुमास शुरू हो जाएगा। सूर्य के मकर राशि में जाने तक यानी एक माह के लिए मंगल कार्यो पर विराम लग जाएगा।
इस मास में विवाह, मुंडन व नए कार्यो की शुरूआत वर्जित होती है। ऐसे में इसे लोग निकृष्ट मास मान बैठते हैं लेकिन ज्योतिर्विदों के अनुसार वास्तव में ऐसा नहीं है। इस मास को ऋषि मुनियों ने सांसारिक कार्यो से निषिद्ध इसलिए किया ताकि लोग अन्य कार्यो से अवकाश लेकर अपनी आध्यात्मिक ऊर्जा को सक्त्रिय कर सकें।
ज्योतिषशास्त्र के अनुसार धनु राशि के स्वामी बृहस्पति को माना गया है। माना जाता है कि देवताओं के गुरु बृहस्पति उनके परामर्शदाता होने के साथ ही मनुष्यों को भी धर्म सत्कर्म का ज्ञान देते हैं। देव गुरु बृहस्पति की राशि धनु में आत्मा कारक सूर्य की स्थित जप तप, पूजा पाठ, ध्यान अभ्यास के लिए प्रेरणादायक होती है। धर्मग्रंथों के अनुसार इस अवधि में प्राकृतिक ऊर्जा इंद्रिय निग्रह में सहायक होती है। संयमी बनकर आध्यात्मिक ऊर्जा के संचय का अवसर प्रदान करता है। ऐसे में इस माह में पूजन अनुष्ठान, सत्संग, तीर्थाटन, स्वाध्याय व ग्रंथों का अध्ययन आत्मोन्नति कारक माना जाता है।
ब्रहृमांड तक प्रभाव-
यही नहीं गोचर पद्धति के आधार पर जब सूर्य एक राशि से दूसरी राशि में प्रवेश करता है तो उसका शुभाशुभ प्रभाव पूरे ब्रहृमांड पर पड़ता है। इसमें विश्व में अकल्पित-अप्रत्याशित घटनाएं, राजनीतिक उथल पुथल व मौसम में अचानक परिवर्तन आदि शामिल हैं।
मोबाइल पर ताजा खबरें, फोटो, वीडियो व लाइव स्कोर देखने के लिए जाएं m.jagran.com पर