वीरभद्र के खिलाफ लगे भ्रष्टाचार के आरोपों पर मांगा जवाब
हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप संबंधी मामले में मंगलवार को दिल्ली हाई कोर्ट में सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान अदालत ने सीबीआइ से पूछा कि उसने मुख्यमंत्री पर लगे आरोपों पर अब तक क्या किया है। जांच में क्या पता चला है।
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार के आरोप संबंधी मामले में मंगलवार को दिल्ली हाई कोर्ट में सुनवाई हुई। सुनवाई के दौरान अदालत ने सीबीआइ से पूछा कि उसने मुख्यमंत्री पर लगे आरोपों पर अब तक क्या किया है। जांच में क्या पता चला है।
अदालत ने सीबीआइ व अन्य जांच एजेंसियों को चार हफ्ते के भीतर जवाब दाखिल करने का निर्देश दिया है। मामले की अगली सुनवाई 14 अक्टूबर को होगी। इस बीच सरकारी वकील ने अदालत को बताया कि वीरभद्र सिंह की दिल्ली में भी जमीन-जायदाद है, जो गलत तरीके से ली गई है। न्यायमूर्ति बीडी अहमद व संजीव सचदेव की खंडपीठ के समक्ष मुख्यमंत्री की तरफ से पेश हुए वरिष्ठ अधिवक्ता सलमान खुर्शीद ने कहा कि जब वीरभद्र सिंह पर लगे आरोपों की जांच हिमाचल प्रदेश में हो रही है और वहां अदालत में मामला विचाराधीन है, ऐसे में दिल्ली हाई कोर्ट में सुनवाई नहीं की जा सकती।
इससे पूर्व 28 जुलाई को मुख्य न्यायाधीश जी रोहिणी व न्यायमूर्ति जयंत नाथ की खंडपीठ ने मामले को सुनने से इंकार कर दिया था और केस को ट्रांसफर कर दिया था। पेश मामले में कॉमन कॉज ने अधिवक्ता प्रशांत भूषण के माध्यम से नवंबर 2013 में एक याचिका दायर की थी। जिसमें मांग की थी कि सीबीआइ को निर्देश दिया जाए कि वह वीरभद्र सिंह के खिलाफ भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी के आरोपों की जांच करे।