Move to Jagran APP

लापरवाही के चलते अखिलेश ने किया हैलट अस्पताल के CMS को निलंबित

अस्‍पताल में लापरवाही के चलते गई बच्‍चे की जान जाने की घटना का स्‍वत: संज्ञान लेते हुए उत्तर प्रदेश के सीएम ने कानपुर के लाला लाजपत राय चिकित्सालय के सीएमस को निलंबित कर दिया है।

By Kamal VermaEdited By: Published: Wed, 31 Aug 2016 02:56 AM (IST)Updated: Wed, 31 Aug 2016 08:47 AM (IST)

लखनऊ (जेएनएन)। कानपुर मेडिकल कालेज से संबद्ध लाला लाजपत राय चिकित्सालय (हैलट) की इमरजेंसी से स्ट्रेचर नहीं मिलने पर बाल रोग चिकित्सालय तक बच्चे को कंधे पर लादकर ले जाने और इलाज में लापरवाही से उसकी मौत हो जाने के मामले को मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने गंभीरता से लिया है। मंगलवार को मुख्यमंत्री ने अस्पताल के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक (सीएमएस) डॉ.सीएस सिंह को निलंबित करने के आदेश दिये हैं। साथ ही जिलाधिकारी से मामले में पूरी रिपोर्ट भी तलब की है।

loksabha election banner

बता दें कि कानपुर के मरियमपुर चौराहा के पास रहने वाले सुनील के पुत्र अंश (12) को तीन दिन से बुखार था। पहले वह प्राइवेट डॉक्टर से इलाज कराते रहे। शुक्रवार को हालत बिगड़ने पर हैलट इमरजेंसी लेकर पहुंचे। वहां से बाल रोग चिकित्सालय भेज दिया। स्ट्रेचर नहीं मिलने पर वह किसी तरह बच्चे को अपने कंधे पर उठाकर भागते हुए बाल रोग चिकित्सालय गए। इमरजेंसी में डॉक्टरों ने बच्चे को देखते ही मृत घोषित कर दिया था।

यह मामला राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग तक पहुंचा। बताया गया कि अस्पताल की चौखट तक पहुंचने के बावजूद बच्चे का इलाज तो दूर स्ट्रेचर तक नहीं मुहैया कराया गया। यही नहीं, डॉक्टरों पर बिना इलाज के ही बच्चे को मृत घोषित करने का आरोप भी लगा। आयोग की अध्यक्ष जूही सिंह ने मामले की शिकायत मुख्यमंत्री से की तो उन्होंने पूरे मामले का संज्ञान लेकर इसे अत्यधिक गंभीर करार दिया। उन्होंने तत्काल हैलट के मुख्य चिकित्सा अधीक्षक को निलंबित करने के आदेश दिये। उनके आदेशों के अनुपालन में हैलट के सीएमएस डॉ.सीएस सिंह को निलंबित कर दिया गया है। इस बीच चिकित्सा शिक्षा महानिदेशालय ने भी मेडिकल कालेज के प्राचार्य डॉ.नवनीत कुमार से पूरे मामले की आख्या 24 घंटे के भीतर मांगी है।

एसीएम-छह व एसीएमओ जांच करने पहुंचे

इस मामले में शासन के आदेश पर जिलाधिकारी कौशलराज शर्मा के निर्देश पर एसीएम-6 राजेंद्र त्रिपाठी एवं एसीएमओ डॉ. एके श्रीवास्तव मंगलवार को जांच करने हैलट अस्पताल पहुंचे। टीम ने बच्चे का इलाज करने वाली जूनियर डॉक्टर डॉ. सुनीशा अरोड़ा एवं डॉ. पारस गुप्ता से पूछताछ की। उससे पूछा गया कि बच्चे को हैलट इमरजेंसी से लेकर कोई कर्मचारी लेकर आया था या नहीं। उन्होंने कहा कि देखा नहीं।

बच्चे को इमरजेंसी के अंदर उसके पिता सुनील लेकर आए थे। तत्काल बच्चे को अटेंड किया गया, लेकिन उसकी सांसें पहले ही थम चुकी थीं। इस पर जांच टीम ने पूछा कि आप लोगों से किसी प्रकार की बहस या विवाद भी हुआ। उन्होंने बताया कि परिवारीजन ने किसी तरह की आपत्ति नहीं की, मृत घोषित करते ही परिवारीजन बच्चे को लेकर चले गए। उसके बाद एसीएम-6 एवं एसीएमओ डॉ. एके श्रीवास्तव मरियमपुर अस्पताल के निकट बस्ती में रहने वाले सुनील के घर भी गए। उनसे भी इलाज के बाबत पूछताछ की।

जीएसवीएम मेडिकल कालेज के प्राचार्य डॉ. नवनीत कुमार ने तीन सदस्यीय जांच टीम गठित की है। हैलट के प्रमुख अधीक्षक डॉ. आरसी गुप्ता की अगुवाई में गठित कमेटी में सीएमएस डॉ. सीएस सिंह, बाल रोग के सीएमएस डॉ. जीएन द्विवेदी को शामिल किया है। कमेटी दो दिन में प्राचार्य को जांच रिपोर्ट देगी।

उत्तर प्रदेश से जुड़ी सभी खबरों को पढ़ने के लिए क्लिक करें


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.